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Sharad Purnima Puja Vidhi 2025: हिंदू धर्म में पूर्णिमा का दिन विशेष माना जाता है और साल के हर महीने में एक पूर्णिमा तिथि होती है। इनमें से अश्विन महीने की पूर्णिमा को शरद पूर्णिमा कहा जाता है। शरद पूर्णिमा न केवल धार्मिक दृष्टि से महत्वपूर्ण है, बल्कि इसे स्वास्थ्य, समृद्धि और सुख-शांति के लिए भी अत्यंत शुभ माना जाता है। ऐसे में चलिए शरद पूर्णिमा पर पूजा कैसे करें, स्नान दान का समय | Sharad Purnima Puja Vidhi 2025: How To Worship on Sharad Purnima,Time for Bathing and Donation.

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~PR.114~HT.408~ED.118~

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00:00हिंदु धर में पुर्णिमा का दिन बहुती महतपूर्ण माना जाता है और साल के हर महीने में एक पुर्णिमा तिथी होती है।
00:08इनमें से अश्विन महा की पुर्णिमा को शरत पुर्णिमा कहा जाता है।
00:11शरतपुनिमा ना केवल धार्मिक द्रिस्टी से महतपूर्ण है, बलकि इससे स्वास सम्रेद्धी और सुक्षान्ती के लिए भी अतियन्त शुब माना जाता है।
00:20इस दिन भगवान विश्णू, मातालक्ष्मी और चंद्रमा की पूजा का विशेश महतव है।
00:25मानेता है कि इस दिन की गई पूजा और व्रत से अध्यात्मिक और भौतिक दोनों प्रकार के लाब मिलते हैं।
00:31शरतपुनिमा की खास परंपरा ये है कि रात को खुले आसमान के नीचे खीर रखी जाती है, जिससे उसमें चंद्रमा की कितने पड़ती हैं।
00:40इसे अगले दिन खाकर स्वास, देरगायू और स्वभागे की कामना की जाती है।
00:44महें इस दिन इस नानदान का भी बहुत अधिक महत्व है।
00:47ऐसे में चली बताते हैं आपको कि शेरत पुर्णिमा पर इस नानदान का शुब समय क्या है।
00:52और साथी आपको बताएंगे शेरत पुर्णिमा की पूजा भी थी।
00:56सबसे पहले बात करते हैं शेरत पुर्णिमा इस नानदान के समय की।
00:59इस नांदान का अमरेच सर्वोत्तम मुहरत 12 बचकर 9 मिनट से लेकर 1 बचकर 37 मिनट तक है
01:07वही ब्रह्म मुहरत सुभ़ 4 बचकर 49 मिनट से लेकर 5 बचकर 28 मिनट तक है
01:13इस मुहरत में आप इस नांदान कर सकते हैं
01:15अब बात करते हैं शरत पुणिमा की पूजा विधी, इस दिन सुबह पवित्र नदी में सनान करें या फिर घर में पानी में गंगाजल मिला करें सनान करें, साफ सुत्रे कपड़े पहने, व्रत और पूजा करने का संकल पलें, भगवान विष्णो, मालक्ष्मी और चंदर द
01:45दूद, चावल और सफेद फूल मिला कर अर्ग देना चाहिए, अगले दिन सूर्योदे से पहले उस खीर को प्रशाद के रूप में ग्रहन करना चाहिए, और इस खीर को आप किसी चलनी से ढख कर रखें, पूर्णिमा के दिन अनवस्त्र, चावल, दूद, मिठाई और दक
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