West Bengal: Voter List से नाम कटने का डर, क्या Sonagachi में छिन जाएगी नागरिकता? | Oneindia Hindi पश्चिम बंगाल के सोनागाछी में हड़कंप मचा है। SIR Process के चलते Sex Workers को डर है कि कहीं उन्हें 'बांग्लादेशी' या 'रोहिंग्या' घोषित न कर दिया जाए। जानिए आखिर क्या है दस्तावेजों का पूरा विवाद। पश्चिम बंगाल (West Bengal) और खासकर कोलकाता (Kolkata) के रेड लाइट एरिया सोनागाछी (Sonagachi) में स्पेशल इंटेंसिव रिवीजन (SIR) की प्रक्रिया शुरू होते ही दहशत का माहौल है। यहाँ रहने वाली सेक्स वर्कर्स (Sex Workers) को डर है कि मतदाता सूची (Voter List) से उनका नाम काट दिया जाएगा। About the Story: Sex workers in Kolkata's Sonagachi are fearing the loss of their voting rights due to the ongoing Special Intensive Revision (SIR) of electoral rolls. Lacking ancestral documents, they worry about being labeled as illegal Bangladeshi immigrants or Rohingyas. The Election Commission is being urged to relax documentation norms for this marginalized community.
00:13SIR यानि Special Intensive Revision की प्रक्रिया शुरू होते ही
00:17कई अनसुनी आवाजें उठ रही हैं
00:20सैक्डों, सेक्स वोकर्स ने मदाता सूची में अपना नाम दर्ज कराने को लेकर
00:24गहरी चुन्ता जताई है क्योंकि उनके पास आवश्यक पारंपरिक दस्तावेज नहीं है
00:30जो कि वोटर लिस्ट में शामिल होने की मुख्य शर्त मानी जा रही है
00:34SIR का उदेश्य मदाता सूची को पारदर्शी और सही बनाना है
00:39जिसमें डुप्लिकेट, मृत या फर्जी मदाता नामों को हटाया जाता है
00:43और नए पात्र नागरिकों को चोड़ा जाता है
00:46ये प्रक्रिया देश के 12 राजियों में चल रही है
00:49और इसका अंतिम लक्ष परवरी 2026 तक एक सटीग वोटर लिस्ट तयार करना है
00:54लेकिन सोना गाची की सेक्स वोकर्स के लिए इस प्रक्रिया ने एक गहरा भय पैदा कर दिया है
01:00इन में से कई लोग घर छोड़कर सालों पहले इस इलाके में आये हैं
01:05और उनके माता पिता से अब उनके संपर्क भी नहीं है ना ही पारिवारिक दस्तावेश मौजूद है
01:10इसके चलते उन्हें डर है कि SIR के दोरान दस्तावेश की कमी के कारण उनका नाम वोटर लिस्ट से हटा दिया जाएगा
01:17और उनका वोटिंग अधिकार तो छिनेगा ही साथी डॉक्यूमेंट्स के अभाव के कारण उन्हें बांगलादेशी रोहींग्या करार दिया जाएगा
01:24एक गैर सरकारी संगठन दरबार महिला समन्वै समीती में चुनाव आयो के मुख्य निर्वाचन अधिकारी को लिखत अनुरोध भेजा है
01:32जिसमें समुदाय के लिए विशेश सत्यापन कैंप और स्थानिय आधार पर नामांकन की सुविधा देने की मांग की गई है
01:41उनका कहना है कि कई सेक्स वोकर्स के पास आज आधार कार्ड, पैन कार्ड, राशन कार्ड, पासपोर्ट, बजली बिल जैसे दस्तावेश मौचबू ही नहीं है
01:50जो वोटर सुची में नाम जोडने के लिए पर्याप्त होने चाहिए
01:53समीती की सचीव, विशाखा अलसकर कहती है कि हमने वोटर आईडी कार्ड 2002 में हासल किया था
02:00और तभी से वोट देना शुरू किया लेकिन इससे पहले हमारे पास कोई ओफिशिल कार्ड नहीं था
02:05चुकि नामांकन प्रक्रिया के लिए 2002 की सूची देखी जा रही है
02:09कुछ हमारे नाम शायद पहले की लिस्ट में नहीं होगे
02:12इसलिए हम डरते हैं कि दस्तावेज की कमी के कारण हमारे वोटर नाम हट सकते हैं
02:18इन चिनताओं के बीच सेक्स वोकर्स का भवनात्मक दर्द गहरा है
02:22उन्होंने जीवन की कठिन लडाईयां लड़ी है
02:25सामाजिक भेदभाव, आर्थिक और स्थिर्ता, स्वास्ति संबंधि चुनोतियां
02:30और अब डॉक्यूमेंटेशन की पाधा भी उनके लोकतांत्रिक अधिकार के सामने दिवार बन चुकी है
02:35चुनाव आयोग ने आश्वासिन दिया है कि योग्य नागरिकों को वोटर सूची में शामिल करने के लिए विशेश कदम उठाये जा रहे है
02:42जिसमें कुछ मामलों में साक्ष आधारित नामांकन और सत्यापन भी शामिल है ताकि कोई भी योग्य वेक्ति अपने अधिकार से वंचित ना रहे
02:51फिर भी सवाल ये है कि क्या पारंपरिक माता पिता के दस्तावेज पर आधारित SIR प्रक्रिया उन समुदायों के लिए उप्यूक्त है जिनका पारिवारिक संपर्ख ही तूट चुका है
03:02और क्या लोकतंत्र उन लोगों को समान रूप से ताकत देता है जिनने समाज ने पहले ही किनारे कर दिया है
03:09उन Six Workers की दुविधाएं सिर्फ एक वोटर आईडी से परे हैं ये उनकी पहचान, अस्तित्व और समान नागरिक अधिकार के साथ जुड़ी लड़ाई है
03:20अगर वे SIR में फस कर अपने वोटर नाम खो देते हैं तो ये न सर्फ उनके मदाता सूची में नाम हटने जैसा मामला होगा
03:27बलकि समाज के एक सबसे कमजोर वर की आवाज को और भी दबा देने वाला च्छती भी होगा
03:33इस ख़बर में इतना है लेकिन इस पूरी प्रक्रिया और 6 वोकर्स की इन स्थिती पर आप क्या सूचते हैं हमें कमेंट करके जरूर बताएं
Be the first to comment