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  • 4 months ago

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00:00अब जब त्रही ने सच को स्विकार कर लिया है, अगली परिक्षा होगी, सबसे कठिन, बलिदान. इसमें तय होगा कि वो एक दूसरे के लिए कितनी दूर जा सकते हैं.
00:08साया, एक रहसे की परचाई, एपिसोड 14, बलिदान की शर्त, त्रही के सामने एक नया द्वार खुलता है, लेकिन इस बार अंदर कोई गुफा नहीं, बलकि तीन सफेद मंच और हर मंच के पीछे एक छाया रूप खड़ा है, हर छाया दिख रही है, जैसे किसी परिचित इन
00:38और जैसे जैसे धुन्द हटती है, वो कोई और नहीं, उसकी मा निकलती है, आरव के आंसू बहने लगते हैं, मैंने तुम्हें जलने दिया, अब मुझे दोबारा माफ मत करो मा, आवाज फिर आती है, बलिदान करो अपनी आग की शक्ती का, या अपनी मा की यादों का, आर
01:08पा सकती है, बस अपनी यादें छोड़नी होंगी, अनया फुसफुसाती है, अगर मैंने सब भूला दिया, तो मैं मैं नहीं रहूंगी, तो बलिदान कर अपने बीते हुए प्यार का, अनया चुपचाप आगे बढ़ती है, और अपनी डायरी जो वो हमेशा साथ रखती थ
01:38अगर तु खुद को अपनाती है, तो तुझे इस दुनिया में जगह नहीं मिलेगी, और अगर तु अब की नैना बनती है, तो मुझे मिटा देना होगा, नैना धीरे से आँखें बंद करती है, और कहती है, अब मैं अधूरी नहीं रहना चाहती, वो मंच पर खड़ी होकर
02:08एक औरत की आँखें खुलती हैं, सरिता राय की, उसकी बाइं कलाई पर वही चिन है त्रई का, वो कहती है, अभी दो परिक्षाएं बाकी हैं, और असली लडाई तो अब शुरू होगी
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