Neelam, 22, brought a small idol from an ancient temple to her home. At night, the idol’s eyes began to glow. She tried to cover it, but strange whispers filled the room. The door locked itself, darkness engulfed the room, and Neelam screamed — but no one heard her. By morning, she was gone. Only her broken mangalsutra remained, and the idol’s eyes still burned with an eerie light.
नीलम, 22 साल की, एक प्राचीन मंदिर से छोटी मूर्ति अपने घर ले आई। रात में मूर्ति की आँखें चमकने लगीं। उसने डरकर उसे ढकने की कोशिश की, लेकिन मूर्ति से अजीब फुसफुसाहट सुनाई दी। घर का दरवाज़ा अपने आप बंद हो गया और कमरा अंधेरे में डूब गया। नीलम चीखती रही, लेकिन कोई उसे सुन नहीं पाया। सुबह जब घरवाले कमरे में दाख़िल हुए… तो नीलम गायब थी। बस फर्श पर उसका टूटा हुआ मंगलसूत्र पड़ा था, और मूर्ति की आँखें अब भी जल रही थीं।
Dare to watch till the end… / अंत तक देखने की हिम्मत है?
00:00नीलम, 22 साल की, एक प्राची मंदर से छोटी मूर्ती अपने घर ले आई, रात में मूर्ती की आखे चमकने लगी, उसने डर कर उसे ढखने की कोशिश की, लेकिन मूर्ती से अजीव फुस-फुसाट सुनाई दी, घर का दर्वाजा अपने आप बंध हो गया, और कमरा अंधे
00:30इलम नहीं थी, बस फर्ष पर उसका टूटा हुआ मंगल सुत्र पड़ा था, और मूर्ती की आखे अब भी जल रही थी
Be the first to comment