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Khoi Hui Aatma Ka Badla | खोई हुई आत्मा का बदला

Raat Ki Khamoshi में आपका स्वागत है।
आज की कहानी है— Khoi Hui Aatma Ka Badla।
यह कहानी सिर्फ डरावनी नहीं, बल्कि एक रहस्य भी है।
पुरानी हवेली, अधूरी आत्मा और उसका बदला… क्या चार दोस्तों को इसका सच पता चल पाएगा?
देखिए और जानिए उस आत्मा का बदला जो कभी नहीं मिटता।

Welcome to Raat Ki Khamoshi.
Today's story is — The Revenge of the Lost Soul.
This is not just a horror story, but a mysterious tale.
An old mansion, an unfinished soul, and its revenge… Will four friends uncover the truth?
Watch and discover the vengeance of a soul that never rests.

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Transcript
00:00रात की खामोशी में आपका स्वागत है
00:02आज की कहानी है खोए होई आत्मा का बदला
00:06यह कहानी सिर्फ डर नहीं
00:09बल्कि एक अनसुझा रहस्य भी है
00:11तो चलिए शुरू करते हैं
00:15उत्तर प्रदेश के एक कस्बे में सदियों पुरानी राय साहब की हवेली खड़ी थी
00:19दिन में विरान और जरजर लगती लेकिन रात होते ही उस हवेली से अजीब आवाजे आती
00:25कभी किसी औरत का रोना, कभी चीख, तो कभी अचानक पायल की जंकार
00:31लोग कहते थे यह हवेली शापित है
00:34इस हवेली से जुड़ी थी राय साहब की बेटी सुश्मा की मौत
00:38शादी से दो दिन पहले सुश्मा अचानक गायब हो गई थी
00:42और फिर तहखाने से उसकी लाश मिली
00:46चहरा इतना बिगड़ा था कि कोई पहचान नहीं पाया
00:49गाव वालों का मानना था कि उसकी आत्मा आज भी वही भटक रही है
00:54और अपना बदला चाहती है
00:57कई साल बाद शहर से चार दोस्त गाव घुमने आए
01:01अमन, रीमा, विजय और प्रिया
01:04गाव वालों से हवेली का किस्सा सुनकर उनकी जिग्यासा और बढ़ गई
01:09गाव वाले बोले
01:11रात को हवेली मत जाना
01:13वहाँ जाने वाले कभी लोटकर नहीं आते
01:16लेकिन दोस्तों ने इसे अंध विश्वास मान कर नजर अंदास कर दिया
01:22विजय ने हंस्ते हुए कहा
01:23ये सब डराने की बाते हैं, चलो आधी रात को हवेली चलते हैं
01:29रात के ठीक बारह बजे चारों हवीली पहुँचे
01:32दर्वाजा खोलते ही चर्मराहट की आवाज गुंजी और धूल का गुबार फैला
01:38अंदर जाते ही टौच की रोशनी में दीवारों पर लाल हाथों के निशान दिखाई दिये
01:43रीमा ने धीरे से कहा
01:45ये सब किसी ने जानबूच कर बनाया होगा
01:49लेकिन तब ही अचानक किसी औरत की धीमी हसी सुनाई दी
01:54चारों ने तौच खुमाई पर वहाँ कोई नहीं था
01:58हवेली के बीचो बीच एक टूटा जूमर लटक रहा था
02:02हवा चली और जूमर जोर जोर से हिलने लगा
02:05फर्ष पर अचानक लंबासा काला साया गुजरा
02:09प्रिया कापते हुए बोली
02:11क्या तुम लोगों ने देखा?
02:14लेकिन साया पल भर में गायब हो गया
02:16वाता वरन भारी और डरावना होता जा रहा था
02:20अमन बोला चलो तहखाने देखते हैं
02:24वही से सुष्मा की लाश मिली थी
02:26तूटी फूटी सीडिया उतर कर वे नीचे पहुँचे
02:29वहां सडांध भरी हवा थी
02:32कमरे के कोनों में जाले और दीवारों पर धब्बे
02:35वहां उन्हें एक पुराना लकडी का बक्सा मिला
02:39उस पर मोटे अक्षरों में लिखा था
02:41मत खोलो वरना आत्मा जाग जाएगी
02:46प्रिया घबरा कर बोली
02:48इसे मत शोओ हो सकता है इसमें कुछ बुरा हो
02:52लेकिन विजय हंसते हुए बोला
02:55ये सब दराने के लिए है देखो मैं अभी खोलता हूँ
02:59उसने बक्सा खोल दिया
03:01जैसे ही बक्सा खुला उसमें से लाल दुपट्टा बाहर गिरा
03:06कमरे में अचानक थंडी हवा भर गई
03:09और तभी
03:10मुझे क्यों जगाया
03:12चारों ने देखा
03:14लंबे खुले बाल, सफेद साड़ी
03:17और खुन से सनी आखो वाली औरत
03:19उनके सामने खड़ी थी
03:20वो थी सुश्मा की आत्मा
03:23आत्मा चीखते हुए बोली
03:26मेरा बदला अधूरा है
03:28जब तक वो पूरा नहीं होगा
03:31कोई भी यहां से जिन्दा नहीं जा सकेगा
03:34विजय डर से कापते हुए बोला
03:36हमारा इसमें क्या कसूर है
03:39आत्मा ने उसकी और उंगली उठाई
03:42तेरा चेहरा
03:43मेरे कातिल से मिलता है
03:46आज तुझे वही सजा मिलेगी
03:49उसने विजय की गर्दन पकड़कर हवा में उठा लिया
03:52विजय जोर-जोर से चिलाने लगा
03:55अमन ने हिम्मत करके कहा
03:58अगर तुम्हें न्याय चाहिए
04:00तो हमें बताओ सच क्या है
04:02आत्मा रोते हुए बोली
04:04मेरे मंगेतर राघव ने मुझे धोका दिया
04:08उसे शक था कि मैं किसी और से प्यार करती हूँ
04:11उसने मुझे कैद किया
04:14और इस तेहखाने में गला गोट दिया
04:16मेरी आत्मा तब तक चैन नहीं पाएगी
04:18जब तक उसका पाप सब के सामने नहीं आएगा
04:21चारों ने तेहखाने की अलमारिया खंगालनी शुरू की
04:25धूल भरी एक डाइरी मिली
04:28अमन्ने पन्ने पलते
04:30उसमें लिखा था
04:32मैंने सुश्मा को हमेशा के लिए अपना बना लिया
04:36अगर वो मेरी नहीं हो सकती
04:38तो किसी की नहीं
04:40नीचे हस्ताक्षर थे
04:42राघवराय
04:43रीमा बोली
04:44तो गाउवालों को सच्चाई कभी बताई ही नहीं गई
04:48अचानक आत्मा चीखते हुए बोली
04:51मेरा सच दबा दिया गया था
04:53लेकिन आज तुम सब गवा हो
04:56जैसे ही आत्मा ने डाइरी अपने हाथ मे ली
04:59दीवारों से खून बहने लगा
05:02छट से जाले जढ़ने लगे
05:05खिड़किया अपने आप जोर-जोर से बंध होने लगी
05:08रीमा और प्रिया रोने लगी
05:21अब मेरा सच सामने आ गया
05:23अब मैं अपने कातिल को जला दूंगी
05:26अचानक दिवार पर राघव की बड़ी तस्वीर उभर आई
05:30तस्वीर में राघव की आँखें हिलती हुई नजर आई
05:34जैसे वो जिन्दा हो
05:36और फिर तस्वीर अचानक आग की लप्टों में जलने लगी
05:40सारा तहखाना आग की रोशनी से चमक उठा
05:44सुश्मा की आत्मा धीरे धीरे धुन्द में बदलने लगी
05:48उसकी आखों से खून के आसू बहते रहे
05:51वो बोली
05:52अब मैं चैन से सो सकती हूँ
05:55और फिर वह गायब हो गए
05:57सुबह होते ही चारों दोस्ट बाहर निकले
06:01गाउवाले दोड़ कर आए
06:03अमन ने कहा
06:05सुश्मा की आत्मा अब मुक्त हो चुकी है
06:08उसकी हत्या का सच अब सब के सामने है
06:12गाउवाले चैन की सांस लेने लगे
06:15लेकिन तभी
06:17हवेली की तूटी खिडकियों से
06:19वही औरत की हसी गुझी
06:21मैंने बदला ले लिया
06:23लेकिन मैं यही रहूंगी
06:25क्योंकि कुछ आत्मा है
06:27कभी मुक्त नहीं होती
06:30हवेली की दिवार पर
06:32एक नया लाल हाथ का निशान उभर आया
06:34और अचानक हवेली का
06:36मुख्य दर्वाजा अपने आप बंध हो गया
06:38चारों दोस्त कापते हुए
06:41पीछे मुड़े
06:41और समझ गय
06:43उस आत्मा का बदला पूरा हुआ
06:46लेकिन उसका डर हमेशा जिन्दा रहेगा
06:48तो दोस्तों
06:50ये थी कहानी खोय हुई आत्मा का बदला
06:53क्या आपको भी लगता है
06:55कि आत्मा अपना हिसाब ज़रूर पूरा करती है
06:57हमें कमिंट में बताए
07:00और हाँ
07:02अगर आप ऐसे डरावने किस से सुनना चाहते है
07:05तो जूद रहिए रात की खामोशी के साथ
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