00:00अब यही लोग लगातार चुनावायों पर एक साजिस के तहत हमले कर रहे हैं। यह कोई साधार अनालों शुना नहीं है। यह एक सोशी समझे इस साजिस का यह हिस्ता है। अध्यक्त मौहरें संबैरानिक संस्थाओं को बदनाम करना राफ्ष के साथ अन्याय है। क्योंकि �
00:30परा रही है। आज जब देश मजबूत लोग तांत्रिक मुल्यों के साथ आगे बढ़ रहा है। तब ऐसी नकारात्मक राजनी नौकि अबल निरासा जनक है। बलकि देश सहित के विरद भी है। अध्यक्त मौहरें।
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