ओड़िशा के केंद्रापाड़ा के रहने वाले सागर जेना गुजर बसर के लिए बच्चों को ट्यूशन पढ़ाते हैं, लेकिन मानवाधिकार के लिए लड़ाई उनका पैशन है. समाज में जहां कहीं मानवाधिकारों के उल्लंघन की कोई घटना होती है, सागर एक्टिव हो जाते हैं. अब तक उन्होंने मानवाधिकार उल्लंघन के 1425 मामले आयोग के सामने लाए, उनमें 800 मामलों में फैसला हुआ और वो जीते. इन मामले में लोगों को 50 करोड़ का मुआवजा मिला. केंद्रापाड़ा कॉलेज से बीकॉम और फिर दिल्ली में फैशन डिजाइनिंग करने के बाद उन्होंने एक कंपनी में काम किया. फिर 2019 में घर आए तब से मानवाधिकारों की लड़ाई लड़ रहे हैं. उनके काम में उनका हथियार मोबाइल होता है, जिससे वो शिकायत दर्ज कराते हैं. उनके इस काम की वजह से कई बार उन्हें धमकियां भी मिल चुकी हैं.सागर की वजह से कई लोगों की जिंदगी में खुशियां आ रही हैं और कई लोगों का परिवार बस रहा है.
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