Sanwal Yaar Piya is a tale of love, fate, and the tangled lives of three individuals—Sanwal, Aliyaar, and Piya. Their destinies collide amidst challenges of loyalty, sacrifice, and a complicated past.
Sanwal, a self-made man, and Aliyaar, a privileged son of a powerful figure, both fall for Piya, whose father hides dark secrets. In a world of deceit and power struggles, the trio must confront their emotions and pasts.
As they navigate betrayal and power, their strength, loyalty, and resolve to fight for what is right are put to the test.
Between Sanwal and Aliyaar, who will Piya choose? What dark secret is Piya’s father hiding?
Will Sanwal lose to Aliyaar because of his wealth and power? How will the past shape the lives of Sanwal, Yaar, and Piya?
7th Sky Entertainment Presentation Producers: Abdullah Kadwani & Asad Qureshi Director: Danish Nawaz Writer: Hashim Nadeem Khan
Cast:
Feroze Khan as Aaliyaar Durefishan Saleem as Piya Ahmed Ali Akbar as Sanwal Yasir Nawaz as Seth Daud/Moosa Zainab Qayoom as Shaista Deepak Perwani as Khaqan Ali Tahir as Aslam Erum Akhtar as Zakia Sidra Niazi as Sassi Nayyer Ejaz as Waheed Saqib Sumeer as Nisaar Kamran Jeelani as Shehryar Rashid Farooqi as Nazeer.B Imran Qureshi as Minister Behroze Yusra Irfan as Lubna Raza Zaidi as Tipu
00:26तुम्हे मैंने मना किया तने इस खर में आने से मैंने बुलाया है सावर कुई हाँ अबबा
00:40क्यों तुम्हे इतने खुदसर हो गए हो कि मेरे इजाज़त के बगिर किसी एरे गरे को घर में बला लोगी
00:56मैं मारा नहीं हो प्या जी जिन्दा हूँ अबबा मैंने सावर से बादा लिया हम सब की इफाज़त का वो सेट मुसा के खिलाफ हम सब की इफाज़त करेगा अब आपको सेट मुसा से डरने की जरूरत नहीं है सावर के होतो है सेट मुसा हमारा कुछ नहीं बिकार सकता यह ब�
01:26आप में फिर बेखर करना चाहते है अबबा इसी तुम समझती क्यों नहीं हो उस इंसान के हाथ बहुत लंबे है
01:34मुझे अपनी फिकर नहीं बेटा मुझे तुम्हारी फिकर है मेरी फिकर तब करनी थी ना जब में पैदा होई थी तो आज दिन ना देखना पड़ता हमें
01:42किसी का जूर नहीं होता बेटा मेरा बुरा वक्त हो ठीक है अबबा लेकिन इस टीस की क्या गरेंटी है कि हम यह घर चोड़के चले जाएंगे तो मुसा हमारे पीछे नहीं आएगा
01:54वो हमें ढूंड़ेगा नहीं क्या अबा खिरम कब तक इस खौफ से दख बदर भटकते रहेंगे और चुपते रहेंगे तब की तब देखी जाएगी
02:02तो इस दुनिया में इतना धेर नहीं मचा कि कोई पी अपना मूँ ठाके हमारे कर में दाखिल हो जाए
02:07क्यों कानून की मदद नहीं मंगिया आपने अबाज तक क्यों इंसाफ का दर्वाजा नहीं खटखटाया क्यों कोई गुंड़ा बदमाश एक बाजी में आपकी बेटी को जीत के अपनी मल्कियत समझने लगा
02:30यह कहां कान साफ है अबा ऐसा तो जंगो में भी नहीं होता
02:36क्यों कानून के रखवालों के पास अपनी पर्याद लेकर नहीं गया कि मैं कमजोर और मजबूर इंसान था पेर सर पे चत नहीं थी सब दुश्मन थैं मेरे
02:52कि मासूम बच्ची को वहां से उठा कि ना पागता तो फिर क्या करता चीक है वो एक खौफ जदा शक्स का फैसला था मान लिया मैंने लेकिन आज आज तो वक बदल गया अबा आज किस चीज़ का खौफ है आपको
03:12आली किस किसम के सवाल करे हो तुम आमर प्लीज आपने हमेशा मुझे टाला है और मैं रुक गया हूं लेकिन आज मेरे लिए जानना बहुत जरूरी है कि जो मुझे पिया ने बता है क्या वो सुच्छा ही है हाँ या ना
03:32और मैं यह जाना चाहती हूं कि यह लड़की क्या चाहती है तुमसे तुम्हारे कहने पे तुम्हारी खुशी के लिए तुम्हारे बाबा और मैं गए ना उन तंग गलियों में से इज़त से उसका रिष्टा मांगने इसका अपना बाप अगर इस रिष्टे से खुश नही
04:02इसलिए तो कहते हैं कि छोटे लोग सदा छोटे ही रहते हैं
04:07उन्हें इस्जत रास नहीं आती
04:12मैं जानता हूँ कि आप लोगों ने मेरी खुशी को हमेशा तरजी दिया
04:19और मैं ये भी जानता हूँ कि आज आप लोग सिर्फ मेरी लिए पिया के घर पे रिष्टा लेने के लिए गए और
04:25मैं अब के लिए बहुत शुकर गुजार भी हूँ
04:28मेठा बाद शुकर गुजार होने की नहीं है
04:31मैं आपसे पूछी हूँ कि आप उस लड़की की बार बार बातों में क्यूं आते हो
04:36हमें क्यूं कटहरे में खड़ा करते हो
04:38मैं किसी को कटहरे में खड़ा नहीं कर रहो मामा
04:40लेकिन इन मसलों का हल मेरे लिए जानना बहुत जरूरी है
04:44कुछ सावालात है मेरे जहन में
04:48जिनके ज़ा बाबा चाहता हूँ
04:51बाबा आप
04:57क्या आपके और पिया के बाबा की जगड़े की वज़ा वो ही है जो पिया ने मुझे बताई है
05:02आखर तुम चाहती है क्या
05:08इसाफ शाती
05:14चाहती हूँ पच्छ साल पहले होए जुम का कफारा आप अब अदा करें
05:19और इस कफारा को अदा करने की सिर्वे की सुरत है
05:24इस तुमारे ख्याल में वह कफारा अदा करने की क्या सुरत है
05:32मैं चाहती हूँ आप मुतलका थाने जाके उस रात होई जुम के बारे में एफ आयार कटवाएं है आप मेरी मा के लिए इनसाफ चाहती हूँ
05:42और मेरी मा की मौत का जो भी एरादी या गेर एरादी तोर पर कातल है उसको सजा मिले
05:48कि या आप ये कफारा बुकरतने को त्यार है अबबा जबाद में अबबा या जी को चर्म वो वारदात इस शहर में हुई नहीं थी पुदिस कभी भी हमारी बात पे इतबाद नहीं करेगी तो आज भी यहां दन दन आता फेट रहे है ना
06:18अबबा आप आप अब पुलीस वालों के पास जा कि हमको सब सब सच बताएंगे
06:26के जिसी बहाने हम मुसा की शर्ट से भी बच सकें
06:48क्या पिया की असल मदा की डैथ की वज़ा आप है
07:01क्या आप ही वो कैमले गूस हैं
07:07नहीं
07:09अब तो यह भी नहीं जानता था कि उस दिन जो औरत मिली थी
07:15वो उस रड़की की सगी मा नहीं है
07:18मुझे लगा था कि हम शायद गलत लोगों के खर में चले
07:24अलियार बहुत ही नड़ामेबाज लोग हैं
07:33उस रड़की को यह भी नहीं पता कि वो उसकी सुतेली मा है या सगी मा है
07:38अगर उसके बाप ने अपनी बेटी से यह हकीकत इतने बरसों चुपा के रखिये तो उसकी वज़ा क्या है
07:47इस तहां के इनसान अपनी बेटी से कभी भी कोई भी जूट बोल सकते हैं
07:53देखो अलियार मैं तुमसे एक बार फिर कहूंगा कि अपनी पसंद पे गोर करो
08:04तो भी पिया के बाप ये सब कुछ क्यों करेंगे आपके से
08:11वो क्यों आप पे इलसामात लगाएंगे उनको क्या हासल होगा आपसे
08:15ये तो होई जाने
08:16मैंने तुम से कहा था कि मैं असलों को बहुत पहले से जानता हूं
08:21लेकिन नाजाने माजी का कौन सा कीना उसने दिल और दिमाग में छुपा के रखा हुआ है
08:27उस बस्ती में मुसा नाम का एक जवारी था लेकिन वो तो मर्खब गया होगा
08:36और ये भी सच है कि मुझे तुम्हारे और उस लड़की के रिश्टे में कोई अतरास नहीं है
08:42कोट मेरिश का मशूरा दे रहा हुआ है
08:45तुम्हें निसार ने बताया था ना वो खुद दुबारा मिला था अस्लम से
08:52कि अपनी जिद छोड़ दे हूँ
08:54कि कि वो तो तुम्हें ही मेरे खिलाफ खड़ा कर रहे है
08:58खड़ा के लिए प्यास ही कह दो कि एक बाप और उसके बेटे के दर्मियान एक नफरत की दिवार ना खड़ी करें
09:13अगर उसके बाप को मुझसे कोई शिक्वा है कोई शिकायत है तो उससे बड़ा रास बात कर ले यार
09:22मैं तुम्हारी खाते माफी मागने को तैयार हूँ
09:27उससे सिर्विया क्या दो कि अपनी बेटी के जरी हमारा घर तो उनने की कोश्च ना करें
09:37वेटा
09:47मेरे और शैस्ता के पास तुम्हारे स्वा कुछ भी नहीं है
09:55उसे को के हमारी आखी दोलत हमसे ना छीने। घर औन्हूमरे यार और में मर जाहूंगे यार वहना बन्हूमर जाँ बाबा कर दू हुआ dobré
10:14अब प्लीज़।
10:16अब प्लीज़।
10:23अब अब प्लीज़।
10:44अब प्लीज़।
10:46अब प्लीज़।
10:48अब प्लीज़।
10:50अब प्लीज़।
10:58क्या कह रहो भाई?
11:00सीधा एफई आर कटवाने के बाद करें उस्तानी जी।
11:08यह सीधी साधी भोली दिखने वाली लडकी अंदर से तनी मजबूत होगी।
11:14इसका अंदाजा तो तेरे साधी भाई को भी कभी नहीं था।
11:19लेकिन भाई यह तो सरासर मौत को दावत देने वाली बात है।
11:23सेध दावत से दुश्मनी।
11:25तुमने तो खुद कई बार कितने बंदों को उसके लिए कबरुस्तान की रा दिखाई है।
11:30तुमसे बेतर कौन जानता है कि वो कितना जालिम इनसान है।
11:36जानता हूँ।
11:40बहुत अच्छी तरह जानता हूँ कितना जालिम है।
11:44लेकिन इस सेध से जालिम एक और चीज़ है।
11:55यह इश्क।
12:00तेरे सेध से दुश्मनी लेकर शायद बच जाओ।
12:04अपने जिसम पर अगार घाओ लग जाए।
12:12लेकिन इस इश्क की मार से नहीं बच पाऊँगा।
12:16लेकिन भाई एक बात तो साफ हो गई है।
12:19यह उस्तानी जी को ना बाइक वाला हीरो नहीं पसंद।
12:22वन्ना वो F.I.R कटवानी के बाद कभी नहीं करती।
12:25मैं वह यह अंदाजा लगा के परिशान हो रहे थे।
12:28मैं तो कहता हूँ इजहरे मौपत करी दो।
12:31ओ इश्क के मामले तेने सीधे सादे नहीं आते जंडे है।
12:35अरे भाई छोटी मोटी आश्की तो हमने भी किये।
12:38मुझे तो लगता तुमारा रास्ता बिलकुल साफ है।
12:42वैसे क्या का उस्तानी जी के अबबाने F.I.R वाली बात पे।
12:45वो इतना बड़ा पंगा लेने के लिए राजी है।
12:48और रास्तानी जी के अबबाने ने मताइब आपने अबाच तक है।
13:09क्यों क्यों क्यों कि मदद ने मंगे आपने अबाच तक है।
13:17क्यों उनसा आपका दर्वाजा ने खटखटाया।
13:20चाहती हूं 25 साल पहले हुए जुन का कफारा अब अदा करें।
13:25और इस कफारे को अदा करने की सिर्वे की सूरत है।
13:29इस अबाने क्या है वह कफारा अदा करने की क्या सूरत है।
13:33मैं चाहती हूँ आप मुतलका थाने जाके उस रात वो इद्रुब के बारे में एप आयार कटवाए
13:39पिया तो बच्ची है, जिद्धी है
13:52दिल टूटा है उसका सचाई जानकर
13:56मगर आप तो मामले की निजाकत को समझते हैं न
14:03छोड़ क्यों नहीं देते ये दुश्मिन, अभी भी वक्त है कुछ नहीं बिगड़ा
14:09असलों मुझे बहुत डर लग रहा है
14:15अगर ये मामला थाने कचैरी तक पहुँच गया तो कहीं
14:19कहीं वो लोग पिया को कोई नुकसान ना पहुँचा गया
14:24करो तो क्या करो
14:32कि अपनी बेटी मेरे सामने आके खड़ी हो गई है
14:39कि असाथ उस गदी के गुंडे को बिला लिये
14:46कि अजानता नहीं
14:50कि प्रिया बुझे अपनी मा का कातिल समझती है
14:56इसा कुछ नहीं है असलम उसे सिर्फ मुसा पर हुसा है
15:03और उसका गुसा कोई ना जायस भी नहीं है
15:05आखर इस सारे फिसाद की जड़ वो मुसा ही तो है
15:11मैं फैसली की घड़ी आके है
15:15जिस मजी से परसु चुपता रहा
15:19पागता रहा
15:22वही मेरे सामने आके है
15:26मैं अंसरा के जड़ नहीं है
15:39कि जब लागता है
15:43कि जड़ कर दो है
15:48कि जड़े च्बद है
15:51वही मैं वहीं है
15:54बुटान, बुटान, बुटान, बुटान, एक ही गो?
16:24आजाएं
16:54आजाएं
17:02आजाएं
17:04आजाएं
17:05इस्टान, इस्टान, यह ओजदी स्टान, बुटान, लुटान, दींधिएध।
17:23बिया जी
17:25जी
17:31एक बाप के लिए इससे ज़्यादा पस्ती का मकाम क्या हो सकता है कि
17:35अपने वादाद की नजरों से बिर जाए
17:43यह दुनिया की हर पस्ती बरदाश कर सकता हूं लेटे लेकिन
17:47यह जिल्द मुझे बरदाश नहीं है
17:51जो कफारा चाहती हो
18:05मैं वादा करने के लिए तयार हूं बैठा
18:09बोलो
18:15कहा चलना होगा मुझे अपनी माजी की गलुतियों का इत्राफ करने के दी
18:21अपा बस मुझे थोड़ी मुलत देजे फिर में खुद आपके साथ चलू की
18:35अपा बस आपके साथ
18:41अपके साथ
18:47कर दो कर दो
19:17कर दो कर दो
19:47है यह क्या पुरानी शहजादी वापस आगी बाइट का क्या किया और वापस करती है
20:02अब उसकी जरूरत नहीं बढ़ेगी अब आने वाले वक्त में इसकी जरूरत है
20:14क्यारी पकड़ ले खुल कर साबने आने का मक्त आ गया
20:29क्या बढ़े खुल कर दो
20:36पिया पिया पिया पिया पिया पिया कि बच्चिक किदर रहा है
21:06पिया पिया पिया पिया पिया है.. पिया कि बच्चिक कि आप डारी दोडन से नाग उनिवेस्टी आरी और फोन भी ओठारी हो तोई होश एब तुम्हारी एक लुगना नाम के दोस्ता है प्रिशान होगी बचारी आप में ड्रामे बंद करो और अन्दर नाओ टॉग नहीं थ
21:36यह पागल हो गई हो पिया तुम्हाल यार के अबू के खिलाफ एफ आइयर कट वाने का सोच रही हो खोश में तो होँ खाँ मैंने ये पैसला अपने पूरे होश औहुश हवास में किये और यार उस पिछारे का प्या इसका क्या किस हूरे पिया बहन तुम ना ये देखो हाथ
22:06समरे सामने हाथ जोडती हूँ ये सरसर हुमाकत है क्यों केहल रही हो अपनी जिंदगी से अगर आलयार मुझसे महबत करता तो उसे मिरा साथ नाओ
22:15अभी तुमिले तुम मुझे का, वो मुझसे बहुत महबबत करता है, बड़े-बड़े दावे कर रहे है मेरे लिए, अब बस वक्त आगे है दावे सच करने का, तुम्हारा तुछ दुमाग खराब हो गए बहन, या महबबत को ऐसे आजमाया नहीं करते है,
22:29जो भी हो, मैं तुम्हें ये फरकत करने के कभी जासर नहीं दूगी, जो हुआ सो हुआ, अगे तुम्हारी पूरी जिंदगी ही पड़ी है यार, अल्यार से शादी कर लो, बहुत महबबत करता है तुमसे, मैं उसके आंखे में तुमारी नहीं बहुत खेयर देख लिए, रु
22:59तसलीम करनी होगी, कि उसका बाप हमारा कुनेगार है, और वो ये बात जित्ती जल्दी तसलीम कर ले उतना बहुतर होगा, मैं तुमारे साथ यनिवर्स्टिय जाओंगी त्यारो को आई, पिया, बात तो सुनो यार, इस्का नड़की है यार,
23:29सुने करेंशार मीरो से चुल, जा जायो को सुना सुनो के लिए, यह नोगाना सबना जाओंगी है मैं एकाले जाना आपका मुनासिब नहीं है, मैं छोडा हूं? यद करेंडेंगे, सुन। द में जरिजा नहीं ठेक्या मैं आत्या है? एक छोड़ा दक्सा ठाह साथ हम ड़ा
23:59पूचने का शुक्रिया सावल, लेकिन मैं चली जाओगी.
24:01शुक्रिया की ज़रूरत नहीं है.
24:04लेकिन आपकी बस निकल गई होगी.
24:06और रिक्ष में मैं आपको जाने दूँगा नहीं.
24:10जचा भी लेकर हाँ.
24:13रुकें.
24:18ये क्या माजुर है भई?
24:19ये क्यों तुमारी खाज़द करने का सोच रहा?
24:23सावल एक बहुत अच्छा इंसान है.
24:26और मेरी लडाई में मेरी मदद करने को त्यार है.
24:29मैंने उससे एक दोस्त की हैसियस से मादूत मांगी है.
24:32तो ये उसके आंखिया और उसका अंदास तो कुछ और बोले हैं.
24:37जैसे कि ये तुम से महबत करता है.
24:40हाँ, ये सच है.
24:42शाजिसी महबत की वज़द से वो मेरी मदद करे रहा.
24:46पिर पता नहीं कोई और वज़ए.
24:47लुगना मुझे बस इतना पता है कि अगर हमें कोई बचा सकता है न मुसा से तो वस सिर्फ सावल है और कोई नहीं.
24:54सावल तो खुछ मुसा का बंदा नहीं है.
24:56ये उसका होकम माने के या तुमारी इफास्त करेगा.
24:58लुगना में एक पास सावल पर अतवार करने के लावा ना और कोई चारह नहीं है.
25:05इस पूरे शहयर में मुसा के डर के सामने कर कोई दवार बंद के खड़ा हो सकता है तो वस सिर्फ सावल है और कोई नहीं.
25:28लुगना में लुगना में लुगना में लुगना में लुगना में लुगना में लुगना में लुगना में लुगना में लुगना में लुगना में लुगना में लुगना में लुगना में लुगना में लुगना में लुगना में लुगना में लुगना में लुगना में �
25:58तुर्बना, तुर्बना सावदा, जयाना जाए
26:14तुर्बना सावदा, जयाना जाए
26:34तुर्बना सावदा, जयाना जाए
27:04स्क्राइब जया, जयाना जाए
27:16तुर्बना सावदा, जयाना सावदा, जयाना जाए
27:23लुणत जयाए
27:26कर दो कर दो कर दो
27:56पांगे तुम दुनो
28:11मैं कबसे वेट के रहा था अब यह तुम तुम तुम ठीक हूं
28:25प्रीस सो क्या थी मैं थैंक यू
28:34मैंने बाबा से बात की है वो
28:38अपनी गलतियों का अजाला करने के लिए तेया रहा है
28:42मेरे बाबा हमारी कोट मैंज़ लिए बे
28:51यानी बाबा बिलकुल ठीक है तो
28:52तो पी कहते हैं
28:55तो तुमारे अबबा मेरे अबबा से बदला लेकर रहेंगे
29:00तुम घलत समझ रहे हैं
29:01वो जानते हैं तुम्हारे बाबा कभी भी इस रिश्टे के लिए राजी नहीं होंगे
29:05इसलिए कहानीया बना रहे हैं तो इसमें बेतर क्योगा
29:08हम कोट मेरेज कर लें या आप निकाह कर लें, राइट?
29:12यह कोई कहानी नहीं है आले यार, तुम्हारी हो मेरी जिंदी का सबसे बरा सच है, जिसका सामना किये बगेर हम आगे नहीं बढ़ सकते हैं.
29:21पर क्या हो गया तुम्हें? सब सब चानते हो यह भी तुम हमें जूटा समझ रहे हो?
29:29ऐसा नहीं है प्यार, मैं सिर्फ यह कह रहा हूँ कि हमें इस वक्त इस लड़ाई से दूर रहना चाहिए, और जहां तक बात रही सर जूट की तो मैंने अपने बाबा से बैठ के बात किये, उन्होंने बताया है कि इन सब चीजों में इनका कोई कसूर नहीं है, ही स्क्रा है
29:59वाट?
30:07मुझे अंदाज़ा था
30:10कि आप अपनी बेटी की खातिर मचबूर होंगी
30:16लेकं सेट दाउत के खिलाफ थाने में अफाईर कटवाना असान काम नहीं है
30:24इस शहर में कौन काटे गाउन के खिलाफ एफाईर
30:30अब वह आपके परानी बस्ती का पराना जुवारी मुसा नहीं रहा
30:38दर्जनों कंपनियों का मालक है
30:41इनकी महफलों में बड़े-बड़े लोग बैठते हैं
30:45मैं तो जानता हूँ
30:49मैं यह नाराज बेटी हैं सबने जानता है
30:51मुले कितलों की बेटी के बाप के सबकुछ रहना असान थी
30:57मुले के सबकुछ रहना असान थी
31:08मारतिम से बस्ती के ने आया था कि
31:12मुसा को बता नहीं कि तो हमारी मदद करते ना
31:17जो कुछ किया
31:19इसके लिए बहुत शुकरिया
31:23लेकि आप हमारी खातिर मुसा से सीधी दुश्मनी नेने के जुरद नहीं है
31:28यह तु नादान है
31:31वह समझ रही कि तुम हमें मुसा से बचा दोगी
31:36तो खुद को बचा दो बचा लुए
31:44यह हमारा क्या है
31:48हमारा क्याम जाने और बता जाने है
31:57तुम खलत कर रही हो पिया
32:02तुम खलत कर रही हो पिया
32:03तुम खलत कर रही हो पिया
32:04मैं यहां पे इस प्रॉब्लम का सॉल्यूशन निकालने आया हूँ तुम इसे मजीद उल्चा रही हो
32:07तुम खलत कर रही हो पिया
32:08मैं यहां पे इस प्रॉब्लम का सॉल्यूशन निकालने आया हूँ तुम इसे मजीद उल्चा रही हो
32:19मैं कुछ जाह नहीं रही है यार
32:23मैं सिर्फ यह चाहती हूँ कि मीठी मा के साथ जो जुम हो गए उसका इस नसाफ लिया जाए
32:29जाहर उस जुम का कसूरबार मेरा बाप भी क्यों ना हो या कोई और
32:33उन्हें कनून के कठेरों का सामना करना होगा
32:37और उनको वहां से रहाई मिलें या अपनी जमीर की अदालत ही कह दिये उनका नसीब
32:43और वार डूंच यू कर इट
32:45मेरे बाबा का इन सारे मामने में कोई लेने देना नहीं है
32:49वो यह सारी डिस्सपेक्ट बैदाश कर रहे हैं मेरे खातर
32:51वो तुम्हें अपना रहे हैं मेरे खातर
32:53अब तुम्हारा और तुम्हारे बाबा कर क्या हिसाब किताब है
32:55तुम उनसे हिसाब लेती ही रहना
32:57बट प्लीज
32:59डूंट इंक्लूद माई फादर रहने का
33:01वो गौद सेक
33:05वा
33:07कल तक तुम बड़े बड़े दावे कर रहे थे
33:10मेरा साथ में बाने का
33:12मेरे साथ रहने का
33:14कभी छोडने का ना ही
33:16अब क्या हुआ
33:18तक जिनाफ ए सिनाफ किया
33:22यह सब तुम्हारे बाबा की चाल है
33:25वो पहले दिन से हमारे रुष्टे के लिए राजी नहीं थी
33:29वो अपनी दुश्मनी का खुस्ता निकाल रही और मैं, मैं मजीद अपने पेरेंस की डिस्रिस्पेक्ट बढ़ाश नहीं कर सकते।
33:37बात रही तुम्हारी, तो हम तुम्हे कुबूल करने के लिए अभी भी तैयार, बट अगर बदले में रिस्पेक्ट दे सको तो।
33:46पेस्ता तुम्हारे हाथ में अपने अपने अपने बाबा के साथ करियों।
33:56लेकिन प्रीस पिया, कीप माई डाद आओ इस कॉंट्रोबर्सी, इस माई फाइनल रिक्वेस्ट
34:07पेस्ता तुम्हे सुना आती है, पेरे पेस्लिगी कोई अहमियत नहीं।
34:16असा नहीं है, इस आता द।
34:46शिद छोड़ दू, तैसना अपी सिर्फ तम्हारे आपने है, मनी दुनिया अपी तुम्हारी में व्यूहते से खुँर."
34:59आपकी सालाँ दरफी का शुक्रियू है।
35:02कि आपने मुझेत में जिन्दीगी में शामलोने के काबिल समझे।
35:06एक नहीं जिन्दगी की गुलचने तुम्हारी जिन्दगी में लाकिन में मजीद नहीं अचा सकते हैं
35:14यह मेरी जंग है
35:18और मैं इसको लड़ूगी जाहे वेरी आफ़ी जंगी क्यों ना
35:25और हाँ
35:28शाहिद अब जब हम मिलें
35:31वो हम एक दूसरे के लिए वो नाम जो कभी थे
35:38आइक कांट बिरीव अपिया तुम इतनी जिद्धी होगी है
35:43अगर ठीक है
35:45जदा होने कठानी लिया है तो यूही से
35:49लेकि कभी अंदाज हो अपने आफ़ी का तो वापस वाटा है
35:53शायद इतनी देर टाय है
35:56अगर चुदा ही मुकदर है ना
35:59फिर चुदा ही से
36:01प्यार को यूँ बद नाम ना कर
36:02प्यार को यूँ बद नाम ना कर
36:07दागे मुहबत देने वाले प्यार को यूँ बद नाम ना कर
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