वनवास के दौरान एक ऐसा क्षण आया जिसने पूरी सृष्टि को हिला दिया। इंद्र के पुत्र जयन्त, जिन्होंने कौवे का रूप लेकर सीता माता पर चोंच से वार किया, उन्हें लगा कि वे अपने अपराध से बच जाएँगे। लेकिन धर्म के रक्षक भगवान श्रीराम ने उनके इस अपराध को अनदेखा नहीं किया। राम ने ब्रह्मास्त्र चलाकर दिखा दिया कि चाहे देवता ही क्यों न हो, सीता माता के सम्मान से बढ़कर कुछ नहीं। दिव्य न्याय, धर्म की मर्यादा और राम की करुणा—इस प्रसंग में सब कुछ शामिल है। इस वीडियो में देखिए कैसे जयन्त ने क्षमा माँगी और राम ने धर्म के अनुसार दंड देकर उसे मुक्त किया।
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