अमेरिकी राजनीति में भारतीय मूल और दक्षिण एशियाई अमेरिकियों के लिए यह एक ऐतिहासिक रात रही, जब 2025 के चुनावों में तीन बड़े नामों ने नई कहानी लिखी। ज़ोहरान ममदानी, आफ़ताब पुरेवाल और ग़ज़ाला हाशमी… तीनों ने जीतकर साबित कर दिया कि अब अमेरिकी सत्ता के गलियारों में एशियाई पहचान की आवाज़ पहले से कहीं बुलंद है। यह सिर्फ प्रतिनिधित्व की जीत नहीं, बल्कि अमेरिका की बदलती राजनीतिक सोच की मिसाल है — और ट्रंप की पार्टी के लिए साफ़ चेतावनी कि अब वक़्त बदल चुका है।
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