00:00पहले पीड़ी है जो मेटी करने कर रही है तो पढ़ली के क्या बनना चाहते है जा रहा है तूटे फूटे रास्तों और बीहर्ग जंगलों के बीच यहां जिंदगियां बसती है कभी नकसलियों के डर से लोग इन गाउं का रुख नहीं करते थे
00:26यहां तक की आजादी के 78 साल बाद भी इस गाउं का कोई भी व्यक्ति आज तक मैट्रिक फेल तक नहीं कहला सका क्योंकि कोई एक्जाम तक पहुँच ही नहीं पाया
00:40लेकिन अब धीरे धीरे करके स्थिती बदल रही है और चोर मारा और गुम्रहा के 11 छात्र छात्राएं पहली बार मैट्रिक का एक्जाम दे रहे हैं
00:51किसी के आँखों में DM बनने का सपना है तो कोई पुलिस तो कोई डॉक्टर बनना चाहता है
01:21चात्राओं का कहना है कि सभी पढ़ाई छोड़कर अपने अपने घर पर ही रहते थे और परिवार के साथ मजदूरी करते थे लेकिन समग्र सेवा संस्था ने उनकी बहुत मदद की
01:46अलन एवार अतर्य है क्यों करते हैं मुंगेर में जारा परिक्च्छा देने जाना आना घर से ये सब मदद कोन कर रहा है कोन है मकेशरजी संस्था साससे मदद मिल डुन का पढ़ाई कहां कि है
02:01पचमा तक तो है वहाँ उसके बाद तो उंचाग पढ़ाए के लिए तो है
02:05वहीं ग्रामेडों का कहना है की आज तक गाओं में विकास की रोषणी नहीं पहुंची है
02:22DM has the same
02:43Samagra Sewa Sansthaki Pahal Ki Prashansa Ki Ha
02:46And He Badaai Di
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03:42जिनों गाओं के लगभग 900 बच्चे जमुई से मुंगेर ओपन बोर्ड एक्जाम देने गए हैं, जिनके आखों में सुनेहरे भविश्य के सपने हैं, हम उम्मीद करते हैं कि इनका ये सपना सच हो।
03:57इते भी भारत के लिए जमुई से राजेश कुमार की रिपोर्ट
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