00:00गीत हमारा गुणगान इनका ये गीत इनका था क्या उन्निस सो पच्छिस सो उन्निस सो सैंतालिस तक गाते वए लाठी वढ़ती थी ना तो एक बार नहीं गाया किसी ने इतियास बता कंगालो और बताओ कौन से रस्स के अंदर कौन से कारेकरम में इसका गुणगान हुआ क�
00:30कांग्रेसी नारे लगा रहे थे कांग्रेसी चला रहे थे और गुरू रमिंद्रनाथ टेगोर ने दो तैरा गराफ इसके शामिल कराये थे अब गुरू रमिंद्रनाथ टेगोर के खिलाब भी बोलना शुरू कर दो है इतियास की बानकारी है धूरी बाते बताएंगे बै�
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