00:00की रास्तिय गीत हमारे जीवन की संस्किती है हमारा संस्कार है हमारा चरित्र है हमारा विचार है हमारे चिंतन में है हमारे समर्पन में है अहार बेवार खान पान में है हमारे दाइत और कर्तव की मूल आत्मा है और भावना है अब ये देर स्वा साल के बाद इस तरह की बात �
00:30पूरी वार्ड एकोनोमी की बात कर रहा है, पानी की बात कर रहा है, हवा की बात कर रहा है, पूरी दुनिया आर्थीक अजादी की बात कर रहा है, हर वेक्ति की खुशियां की बात कर रहा है, ये हमें संस्कार पड़ा रहे है।
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