आक्रोशित भीड़ ने मुंडावर-बहरोड़ मार्ग किया जाम
मुंडावर ञ्च पत्रिका. कस्बे में युवती के अपहरण, बलात्कार और निर्मम हत्या की दर्दनाक घटना के विरोध में सर्व समाज के लोगों ने शनिवार को पुलिस थाना परिसर के बाहर धरना प्रदर्शन किया। घटना की संवेदनशीलता और भयावहता को देखते हुए विभिन्न समाजों के प्रतिनिधि बड़ी संख्या में एकजुट हुए और आरोपियों के खिलाफ कठोर कार्रवाई की मांग की।
धरने के कुछ ही देर बाद आक्रोशित प्रदर्शनकारी मुंडावर-बहरोड़ मुख्य सडक़ पर जा बैठे, जिससे दोनों ओर वाहनों की लंबी कतारें लग गईं और यातायात पूरी तरह ठप हो गया। पदाधिकारियों ने कहा कि मृतका एक होनहार बालिका थी, जिसे अपराधियों ने न केवल अगवा किया बल्कि उसकी हत्या कर दी। उन्होंने स्पष्ट कहा कि यह किसी एक परिवार की नहीं, बल्कि पूरे समाज की बेटियों की सुरक्षा का प्रश्न है।
प्रदर्शनकारियों ने मांग रखी कि मामले में शामिल सभी आरोपियों की जल्द गिरफ्तारी हो, शीघ्र चार्जशीट तैयार कर फास्ट-ट्रैक कोर्ट में सुनवाई शुरू की जाए, और पीडि़त परिवार को आर्थिक सहायता व सुरक्षा प्रदान की जाए। स्थानीय पुलिस ने मांगों को वरिष्ठ अधिकारियों तक पहुंचाने के आश्वासन के बावजूद प्रदर्शनकारी पुलिस अधीक्षक या जिला कलक्टर के मौके पर आने की मांग पर
अड़े रहे।
करीब दो घंटे तक चले जाम और धरने की स्थिति के बीच पुलिस उपाधीक्षक, किशनगढ़बास मौके पर पहुंचे। उन्होंने प्रदर्शनकारियों से संवाद किया और सभी मांगों पर 5 दिन के भीतर कार्यवाही सुनिश्चित करने का आश्वासन दिया। इसके बाद सर्व समाज ने जाम समाप्त कर धरना हटाया।
इस दौरान समाज के प्रतिनिधियों ने कहा कि जब तक दोषियों को सख्त सजा नहीं मिलती, तब तक आंदोलन की रूपरेखा जारी रहेगी।
धरने में कई जनप्रतिनिधि और सामाजिक संगठन जुड़े, जिनमें कैलाश शर्मा, भीमराज यादव, अभय ङ्क्षसह यादव, श्रवण कुमार, अवधेश भारद्वाज, रोहिताश चौहान, कपिल चौहान, भवानी बड़सीवाल, दुलीचंद छात्रवाल, बलबीर छत्रवाल सहित बड़ी संख्या में सर्वसमाज के लोग शामिल रहे।