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  • 12 hours ago
मोदी-पुतिन की मुलाकात से सधे कितने नए लक्ष्य, वर्ल्ड आर्डर पर क्या होगा असर? देखें श्वेतपत्र

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00:00नमस्कार मैं हूँ श्वेता सिंग और आप देख रहे हैं आज तक दुनिया के सबसे बड़े लोकतंत्र के प्रधान मंत्री की जब दुनिया के सबसे अधिक परमाणू हतियारों वाले देश के राश्ट्रुपती से मुलाकात हुई तो पूरे विश्व की निगाहे भारत प
00:30लेकिन उसी कूट नीती को समझाने के लिए हम जरा सरल तरीके से आज आपके सामने हैं
00:36मेरे हाथ में ये एक रश्ण डॉल है इसे मत्रुष का कहते हैं लेकिन ये केवल एक सामानिय डॉल नहीं होती है
00:43वहां की जो परंपरिक डॉल है इसमें एक डॉल के भीतर आपको दूसरी डॉल दिखेगी
00:49ठीक उसी तरीके से जैसे रूस में और रूस के साथ रिष्टों की परते होती हैं
00:59एक के भीतर एक। दूसरे के भीतर तीसरा। इसी तरीके से जैसे इस मातरुशका डॉल के भीतर से आपको अलग-अलग परते निकल रही है।
01:29कियों के साथ कुछ अमेरिका जैसे देशों के साथ लेकिन उन सारी चीजों के बीच भारत की कूट नीती के हर पहलू पर पेश है श्वेत पत्र
01:48कभी-कभी लंहें तै करते हैं कि सदियां कैसी हो नहीं बोदी पुतिन मुलाकात के हर लंहें में एक इतिहास रहा
01:59प्रोटोकॉल ऐसे तूटे कि रूस हैरान रह गया
02:05भाशाओं के बंधन ऐसे तूटे कि पुतिन भी मुस्कुरा कर रह गए
02:13तूट गई वो धारनाए कि किसी सुपर पावर के दबाव में तूट सकती है भारत रूस की दोस्ती
02:25तैह हुआ कि ये दोस्ती हम नहीं तोड़ेंगे
02:30थीक पट्वीश पर्श पहले राष्पती पुतिन ने हमारी स्टेजिक पार्शिप की निव रखी थी
02:41पंदरा पर्स पैले दोहजार दस में हमारी साज़दारी को
02:48स्टेशल और पुलेजिग पार्शिप का दर्जा मिला
02:52तै हुआ कि एक दूसरे का साथ नहीं छोडेंगे
03:22मेरे मित्र का रजाई से आभार व्यक्त करता हूं विया रेडी तू कि एक तीन्यू अन इंटरॉप्टी चिप्मेंस
03:31आतंगवाद के विरूद लड़ाई में भारत और रूस्त ने लंबे समय से कंदे से कंधा मिला कर सहयोग किया है भारत का अटल विश्वास है कि आतंगवाद मानो ताके मुल्यों पर सीधा प्रहार है और इसके विरूद वैश्विक
04:01एकता ही हमारी सबसे बड़ी ताकप है नस बला वजमुजनस्थ दाले में तको वजमुजनस्थ पद्रोबन रसकादाइब तुम श्टोप प्रिस्कोड़ना का सुप्राइसकम नप्रावलिए श्टोप नामें प्रिद्परिनिमाएट सामें से नेकतरा में दुर्गी में �
04:31कनेक्टिविटी जैसे सेक्टरों में विस्तार की सुपर डील के जर्ये ऐसा आर्थिक रोड मैप तैयार हुआ है जिसका असर धीरे धीरे दुनियां देखेंगे
04:39आर्थिक सहयोग को नई उंचाईयों पर ले जाना हमारी साजी प्रत्विक्ता है इसे साकार करने के लिए आज हमने
04:532030 तक के लिए एक Economic Cooperation Program पर सहमती बनाई है
05:05मोदी पुतिन मुलाकात से भारत में क्या बदलेगा?
05:10मोदी पुतिन मुलाकात का दुनिया पर क्या असर पड़ेगा?
05:13क्या ये मुलाकात अमेर्की टैरिफ नीती पर भारी है?
05:17क्या ये मुलाकात नए वर्ल्ड ओर्डर का संकेत है?
05:20क्या ये मुलाकात विश्व राजनिती में भरोसे की सबसे बड़ी गैरंटी है
05:26मानवता को अनेक चुनोतियों और संक्रटों से गुजरना पड़ा है
05:31और इन सब के बीच भी भारत रूस मित्रता एक धुरू तारे की तरफ बनी रही है
05:41धुरूफ तारे सी दोस्ती रास्ते दिखा रही है खास कर तब जब चुनोतियां दोनों तरफ है
05:4925 साल पहले भारत और रूस के बीच रणनीतिक साज़ेदारी की घुशना हुई थी
05:57इसी साज़ेदारी की 25 वर्षगाट पर दोनों देशों के बीच 19 एहम समझोतों पर हस्ताक्षर हुए
06:04स्वास्ते और चिकित्सा से लेकर वैज्यानिक सहयोग तक, शिपिंग से लेकर डाक सेवाओं तक, शिक्षा से लेकर संचार तक
06:12राश्रुपती पुतिन के भारत दोरे में दोनों देशों के बीच क्या एहम फैसले हुए देखे इस रिपोर्ट में
06:42दिल में देखे वैश्णव जन को पेने कहीं जे पीड़ पर आई जाने देखे
07:05ये दो देशों के बीच महज समझोते नहीं है ये भरोसे की परंपरा पर विश्वास की महत है
07:11ये वो दस्तावेज हैं जो कहते हैं सलामत रहे दोस्ताना हमारा
07:15ये वो हस्ताक्षर हैं जो गवाही देते हैं दो देश्त देशों की विश्वसनियता की एक दूसरे की जरूरत की एक दूसरे पर निर्भरता की
07:23मुझे पूरा विष्वास है कि आने वाले समय में हमारी मित्रता हमें ग्लोबल चलेंजिज का सामना करने की शक्ती जेगी और यही भरोसा हमारे साजा भविष्य को और सम्रुद्द करेगा
07:45प्रधान मंतरी मोदी और राश्पती पुतिन की मुलाकात के बाद भारत रूस के बीच कई एहम समझाते हुए
08:03नौकरियों से लेकर व्यापार तक पूर्जा से लेकर टेकनोलजी तक
08:07कनेक्टिविटी से लेकर कूट नीती तक हर फ्रंट पर दोनों देशों ने कई एहम फैसले दिये
08:12मैन पावर मोबिलिटी अग्रीमेंट
08:16रूसियों के लिए 30 दिन का फ्री वीजा
08:20स्वास्तक शेतर में मेडिकल कॉपरेशन, ट्रेनिंग, टेकनोलोजी साज़दारी
08:26क्रिश्री फर्टिलाइजर सेक्टर में संयुक्त यूरिया उत्पादन
08:32उर्जाक शेतर में अनिंटरॉप्टेड फ्यूल सप्लाई का आश्वासन
08:38राश्ट्री करेंसी में दोनों देशों के बीच ट्रेड तेज
08:43यूरोपिय यूरेशन फ्री ट्रेड अग्रीमेंट पर प्रगती
08:49शिप बिल्डिंग में सहयोग जारी मेक इन इंडिया को बड़ा बूस्ट
08:54हमारे ट्रडिशनल रिष्टे रश्या के साथ केवल जादा दर डिफेंस और न्यूक्लियर में रहे हैं
09:01और हाँ अब तेल में यूक्रेन वार के बाद से हमें जो जरूरत है जल्दी से जल्दी तेजी से तेजी दूसरे सेक्टर्स में
09:10टेक्स्टाइल्स हो गए, फार्मसूटिकल्स हो गए, मेडिकल हो गए, इंजिनिरिंग हो गए
09:14जितने भी और सेक्टर्स हैं उनमें रश्या से रिष्टे ज़्यादा बढ़ाने की
09:18रश्या के कस्टम्स एक अपना ओफिस दिल्ले में खोल रही है और बंबे में भी खोलेगी
09:22ताकि कस्टम्स में जो दिक्कते आती हैं हमारे एक्स्पोर्टर्स को वो असान हो
09:26भारत और रूस के बीच हुए नए समझोते सिर्फ एक सहयोग नहीं बलकि आने वाले दशक की आर्थिक और रंवीतिक दिशा क्या करने वाले कदम है
09:35इनमें सबसे एहम फैसला रहा भारतिये कामगारों के लिए मैन पावर मोबिलिटी अग्रीमेंट
09:41यानि भारतिये नागरिकों के लिए रूस में रोजगार के नए दर्वाजे खुलना
09:48इसके तहट भारती स्किल्ड और सेमी स्किल्ड कामगारों के लिए रूस में काम के अफसर तेजी से बढ़ेंगे
09:54दूसरी और रूस के लोगों के लिए 30 दिनों का फ्री वीजा, दोनों देशों के बीच टूरिजम, स्टूडन्ट एक्सचेंज, मेडिकल टूरिजम और बिजनस विजिट को तेजी से बढ़ाएगा
10:07विशेशग्यों की माने तो स्वास्त क्षेतर में सहयोग भी एतिहासिक है, इसके तहत भारत को एडवान्स मेडिकल टेकनोलजी, नए रिसर्च मॉडल और ट्रेनिंग का पायदा मिलेगा, जबकि रूस को भारत की विश्वसनिय और सस्ती जनरिक दवाईयों तक आसान पहु
10:37तो माउंटेन चड़ने से पहले, एवरेस्ट चे पहले एक बेस कैम्प होता है, वहाँ पे टीम बैठती है, पूरी तयारी करती है, अब यह अखरी चड़ाई चड़नी है, तो क्या-क्या तयारिये करी जाएं, तो यह सम्मिट मैं एक तरह से बेस कैम्प की तयारिये मानू
11:07इससे भारत का समुदरी व्यापार तेज और प्रभावशाली होगा, जबकि रूस को लजिस्टिक्स और शिपिंग की जरीये कमाई का एक नया और स्थाई स्रोथ मिलेगा।
11:37करने जा रहे हैं, जिसमें भारतिये एक्सपोर्टर्स और रशियन इंपोर्टर्स का आपस में मीट अप होगा, कि भारत से क्या-क्या आप इंपोर्ट कर सकते हैं।
11:53भारत की उर्जा की जरूरतों को पूरा करने के लिए रूस की प्रतिवत्ता और मजबूत हुई है।
11:58नूकलियर पावर प्लान्ट प्रोजेक्स में भी सहयोग बढ़ेगा।
12:26आर्थिक सहयोग कारेक्रम 2030 के तहट दोनों देशों ने मिलकर 100 बिलियन डॉलर तक व्यापार और निवेश पहुचाने का लक्ष किया है।
12:33इससे जहां भारत का एक्सपोर्ट तेजी से बढ़ेगा वहीं रूस को एशिया में एक बड़ा और स्थेर बाजार मेलेगा।
12:39ट्रम्प ने भारत पर जब 50% टारिफ लगाया तो पीम मोदी ने बाचीत का रास्ता खुले रखते हुए।
12:49वैकल्पिक रास्ते भी खोजने शुरू कर दिया। भारत ने अफरीका से लेकर एशिया और यॉरोप के कुछ सहयोगी देशों के साथ अपने व्यापार को बढ़ाना शुरू किया।
12:59रूस ने भी भारत का खुब साथ निभाया, तेल की कीमतों में देखा जाये तो पहले से कुछ कमी हुई।
13:07अब भारत रूस ने नई दिल्ली में जो पंच वर्षिय डील की है, उससे अमेरिका को भारत के खिलाफ मुम्किन है अपनी टारिफ मीती पर पुने विचार करना पड़े।
13:18परस पर समान और यहरे विष्वास पर ठीके यह थम्मन समय की हर कसोटी पर हमेशा खरे उत्रे
13:37हाथ मिले, दिल मिले और जो एलान हुए उनका पंच वर्षिये पंच अमेरिका को सीधी तोर पर एलान है इस बात का कि यह नया भारत है जो दबाव में नहीं आता
14:03जे वो भारत है जो अमेरिका के टरिफ पेनल्टी के आगे न जुका है न जुकेगा
14:09भारत और रूस में मिलकर 2030 तर जानी पांच साल के साजे लख्ष तै कियो है और लख्षों से सपष्ट है कि भारत पर 50 पतिशक टरिफ की ट्रम्प नीटी का कोई असर है ही ना
14:26तर ने जाए लख्ष तै कर ने पर चांच पर पचास टरिफ लगा कर रूस से भारत के व्यापार को बंकर आया जाए जाये ता कि रूस को आर्थिक रूप से तोड़ा जा सके पिर यूकरेन से युद के चलते रूस को शर्पेमान कर युद रोकने के लिए मजबूर किया �
14:56खुद युद रुकवाने का क्रडिट ले सके लेकिन भारत रूस की दोस्ती च्रम्प के फ्रेश्णों पर भारी पुड़ी ना रूस जुका और ना ही भारत तरक्ती के रास्ते पर बहने से रुका
15:06भारत आज एक शक्तिशाली देश और वो पहले की तरह ब्रिटिश शासन के अधिन नहीं है और ये बात सभी को समझनी होगी खास्तोर से प्रधानमंत्री मोदी की अगवाई में भारत अब विदेशी दबाव में नहीं आने वाज़ा है
15:25भारत और रूस ने 2030 तक दोनों देशों के बीच व्यापार 100 बिलियन डॉलर पार करने का लक्ष रखा है लेकिन दोस्ती और आपसी समझ जिस तरह दोनों देशों के नेताओं के बीच दिख रही है उससे ये संकेत मिल रहा है कि 2030 से पहले ही ये लक्ष भी पूरा हो जाए�
15:55100 बिलियन डॉलर का उस लक्ष को पार करने का हमने दिर्धार किया था लेकिन कल से मेरी जो रार्पति पूतिन से बात हो रही है और जिस प्रकार के पोटेंशनल नजर आ रहे हैं मुझे नहीं लगता है कि हमें 2030 तक इंतजार करना पड़ेगा
16:12भारत और रूस के बीच कारोबार पिछले 5 सालों में 8 गुना बढ़ा है साल 2021-22 में दोनों देशों के बीच कारोबार 13.1 अरब डॉलर का होता था जो साल 2024-25 में बढ़कर 68.7 अरब डॉलर तक पहुंच गया अब दोनों देशों का लक्ष इसे 100 बिलियन डॉलर तक ले जा
16:42बार बढ़ने की उमीद कर रहा है हमारा युवा टैलेंट टेक्नलोजी एंजिनेरिंग हेल्केर कांस्ट्रक्शन लॉजिस्टिक्स हर छेत्र में ग्लोबल रिक्वार्मेंट्स को पुरा करने की छमता रखता है रूस की डेमोग्राफिक और एकनोमिक प्राइटिस को देख
17:12के लिए अत्यंत उपयोगी है प्रधानमंत्री मोधी रूस के साथ संबंधों को लेकर जो कहा वो सुपर पावर अमेर्का और उसके सहयोगियों के लिए एक संकेत है कि भारत रुकने वाला नहीं है ना किसी के प्रभाव में और ना ही किसी के अभाव में भारत अपनी स्व
17:42ऐसे बहुत भी आशावादी आउटकम के साथ हम हमारे इस मिटिंग को आगे बढ़ाएंगे कि बुरपरा भीश्वाब है
17:51रूस ने भी अब साफ तोर पर एलान कर दिया है कि वो भी किसी के दबाव से मुक्त होकर भारत के साथ है
17:58राशपती पुतिन में जो कहा उसका मतलब अमेरिका को भी अच्छी तरह समझ में आ रहा होगा
18:03भारत से कारोबार एक साल में 12 प्रतिशत बहा, 100 बिलियन डॉलर कारोबार का संकल्प लिया गया
18:09भारत को बे रोख टोख टेल देते रहेंगे, भारत को हथ्यारों के सप्लाई जारी रहेगी
18:14और भारत रूस आपस में रणनीतिक साज़ेदारी और मजबूप करते रहेंगे
18:19राशपती पुतिन ने भारत की सरजमीन से अमेरिका को आईना भी दिखाया
18:39जहां तक भारत की और से रूस से अरजा संसादनों की खरीद की बात है
18:45तो मैं साफ कर दूं की अमेरिका अब भी अपने न्यूकलियर पावर प्लांट्स के लिए हमसे परमानों अरजा की खरीद करता है
18:53इन में अमेरिका में चल रहे नूकलियर पावर प्लांट्स के लिए गूरेनियम भी शामिल है
18:59तो अगर अमेरिका खुद अपनी उर्जा जरूरतें रूस के जरीए पूरी करता है
19:04तो फिर भारत की खरीद को लेकर उन्हें आपती क्यूं है
19:07जवाब अमेरिका को खुद खूजने है
19:10सवाल अब अमेरिका के सामने है
19:12भारत और रूस पारंपरिक रिष्टे को और आगे बढ़ा रहे हैं
19:15आने वाले समय में अभी और साजितारिया हो सकती है
19:18अमेरिका को अपनी नीतियों पर उनर विचार करना है
19:21क्योंकि भारत की ना तो वो आर्थिक दोथ रोप पाया और नहीं रूस से दोस्ती
19:25जब कूटनीती में नफा नुकसान की बात होती है
19:30किसी भी वारता के सफल या असफल होने की बात होती है
19:35तो उसको आकने में कुछ समय लगता है
19:37और निरंतर्ता के पैमाने पर भी उसे आकना पड़ता है
19:41जब भारत और रूस के सैन्य संबंधों की बात आती है
19:45तो दोस्ती का सबसे गाढ़ा रंग वही पर नजर आता है
19:50हालकि व्लादमेर पुतिन के इस दोरे को लेकर बहुत सारी संभावनाएं सैन्य रूप से जताई जा रही थी
19:56उसको लेकर क्या निकला क्या आगे इसकी नीव पर भारत और रूस की सैन्य साज़ेदारी बढ़ सकती है
20:07इसे गहराई से समझना होगा
20:10उननिस बड़ी डीलों के साथ साथ एक सबसे बड़ी डील का इंतजार भी था लेकिन वो नहीं हुई
20:17भारत और रूस के बीच कोई नई रक्षा डील साइन नहीं की गई
20:20इसका मतलब यह हुआ कि जो मौजूदा डीले हैं वो जारी रहेंगी
20:24लेकिन किसी भी नए उपकरण या हत्यार की खरीद पर मुहर नहीं लगए
20:28एक गुरू तारे की तरह बनी रहे
20:30जो पोटिन साब की विजीट है उनके डेलिगेशन की
20:37वो यही बार के सस्टेनेबल ग्रोथ और सप्लाइज चेन रच्छा के साथ कैसे बड़े
20:42तो मुझे लगता है कि ये फोरम की मिटिंग के बाद
20:46अगले साल हम इसका नतिया देखेगे और हमारा एक्सपोर्ट कई एरिया में जो नहीं समाब बढ़ेगा
20:53पांच डिसंबर को भारत और रूस के बीच समझोता हुआ
20:56कि रूसी मूल के हतियारों और रक्षा उपकरनों की देखरेग के लिए
21:00जरूरी स्पेर पार्ट का संयुक्त रूप से निर्वार भारत में ही किया जाएगा
21:04ये मेक इन इंडिया के लिहास से बड़ा कदम है
21:07इसके तहट टेखनोलोजी ट्रांसफर और जॉइंट वेंचर के जरिये भारती सशस्त्र बलों की जरूरते कूरी होंगी
21:13और हतियारों का नरियाग भी संभव होगा
21:16इसनी जियो पोलिटिकल अंसरटेंटी के बावजूर
21:20हमारे इंडिया रुषिया डिफेंस कॉपलेशन एक हेल्डी पेस पर चल ला है
21:25और हमारे आर्ण फोर्सेज परसनल और एक्सपॉर्स के बीच होने वाले
21:29आउटकम ओरियंटेड एक्षेंज ने हमारे डिफेंस पार्टनर्शिप के मुमेंटम को बनाये रखा है
21:35एक्सलेंसी एफेक्स लेबल पर हमारे वानित प्रहान मंतरी से लरेंडर मोदी
21:39और रशिया के प्रेशिडंट हेज एक्सलेंसी मिस्टर ब्लादमीर पूतिन के भी नियमित रूप से बाचीत होती रही है
21:46और हमरे दोनों लीडर्स ने जून 2025 में चीन में संधाई कॉपरेशन आर्गनाईजेशन समित के दोरान बहुत क्लोई इंटरेक्शन की थी
21:56इससे पहले चार दिसंबर को रक्षा मंतरी राजनाथ सिंग ने रूसी रक्षा मंतरी आंधरे बिलो उसाफ से मुलखाद की थी
22:07इस मीटिंग में दोनों देशों के नुमाइंदों ने रक्षा सहयोग बढ़ाने के तरीकों बरबाद की
22:12इसमें अतरिक S-400 मिसाइल सिस्टम की खरीद और मौजूदा सोवियत काली हथ्यारों के लिए आवशक आपूर्ती पर भी चर्चा शामिल थी
22:21मौजूदा समय में भारत रूस से T-72, T-90 टैंक, Su-30 NKI जहाज, काशिन क्लास डिस्टॉयर, तलवार फ्रिगेट्स, S-400, OSA, पेचोरा एर डिफेंस सिस्टम इस्तिमाल करता है
22:37ये हथियार भारती सेना की रीड माने जाते है
22:40एक बेहत महतुपूर बात कहना चाहूंगा, भारत हमारे सबसे भरोसे मन साज़दारों में से एक है
22:48हम सिर्फ भारत को हतियार बेच नहीं रहे और भारत सिर्फ इन्हें खरीद नहीं रहे
22:55हमारे बीच का रिश्टा इस से कहीं उपर है, कहीं कहरा है
22:59हम पानी के जहाज, मिसाईलें और हवाई जहाज तक बना रहे हैं
23:05आपने सू 57 का जिक्र किया
23:08लेकिन भारत कई तरहे के रूसी बखतरबंद युद्धक वहनों का उप्योग कर रहा है
23:13टी नबे टैंक जिने भारत खुद बना रहा है बेहत उतकरिश्ट टैंक है
23:18और ब्रमोस मिसाईल जो भारत और रूस ने मिलकर मेकिन इंडिया के तहट विक्सित की उस पर भी हमें गर्ब है
23:26इसके साथ साथ हाली में भारत और रूस के बीच सैन समझोते रिलोस को रूसी संसद में मन्जूरी मिल चुकी है
23:34इसके तहट दोनों देशों की सेनाई एक दूसरे के मिलिटरी बेस, फैसिलिटीज और संसाधरों का इस्तिमाल कर सकेंगी
23:43इनके विमान, वार्शिप, इंधन भरने, मिलिटरी बेस पर उतरने और दूसरी लोजिस्टिक सुविधाओं का इस्तिमाल कर सकेंगे
23:50इस पर आने वाला खर्च दोनों देश बराबर बराबर उठाएंगे
23:53इस समझोते के बाद भारत ऐसा पहला देश बन गया
23:56जिसका अमेरिका और रूस के साथ सैन इंफरस्ट्रक्चर साज़ा करने का समझोता होगा
24:01इस समझोते के तहद जंग या किसी सैन संघर्ष के दौरान
24:05मिलिटरी बेस इस्तमाल करने की अजाज़त नहीं होगी
24:07ये सिर्फ लोजिस्टिक सपोर्ट और पीस टाइम मिलिटरी कॉपरेशन के लिए है
24:11मैं समझता हूँ कि भारत से आज दुनिया का कोई भी देश वैसे बात नहीं कर सकता
24:23जैसे आज से 77 साल पहले किया करता है
24:27भारत आज एक शक्तिश आली देश और वो पहले की तरह ब्रिटिश शासन के अधिन नहीं है
24:39और ये बात सभी को समझने है
24:42अब रिलोस समझोता भारत को रूसी आर्क्टिक बंदर गाहों और सुदूर पूर्फ के ठिकानों तक सीधी पहुँच परदान करता है
24:51जिससे भारत की नौसेना पहली बार बरफीले समुद्रों में भी तभावी धंग से संचालन करने में सक्षम होगी
24:57ये पहुँच नकेवल भारत को एक वैश्विक समुद्री शक्ति के रूप में स्थापित करती है
25:02बलकि उसे भविश के आर्क्तिक व्यापार मारगों और संसाधरों में एक सक्रिय हिस्सिदार भी बनाती है
25:08भारत और रूस अगर मजबूत रिष्टों की बात करते हैं तो उधर चीन भी रूस का दोस्त है
25:16एश्या की ये तीन महाशक्तियां पहले भी S.C.O. सम्मेलन के दोरान मिल चुकी है
25:21बात R.I.C. ट्रॉइका को पुनर जीवत करने की भी उठी थी
25:27लेकिन दूसरा पहलू ये भी है कि जिस तरह के रिष्टे भारत और चीन के रहे हैं
25:32ऐसे में रूस और चीन की नजदीकी भारत के लिए क्या कोई चुनौती हो सकती है
25:51लेकिन रूस की खनिश्टा चीन के साथ भी है जिसके साथ भारत के रिष्टे जटिल रहते हैं
25:56क्या इसका भारत रूस के संबंधों पर असर पढ़ सकता है
25:59भारत और शीन हमारे सबसे करीबी मित्र हैं
26:10और मैं ये नहीं समझता की हमें उनके दूई पक्षी मामलों में हस्तक शेप करना चाहिए
26:16मैं जानता हूं कि प्रधान मंतरी मूदी और राश्टपती जिंग पिंग
26:27जटल और विवादित मसलों पर किसी नतीजे तक जरूर पहुँचेंगे
26:32तो तस्वीर ये है कि रूस और भारत मित्र हैं रूस और चीन भी मित्र हैं लेकिन भारत और चीन के संबंध अकसर तनाव पून रहते हैं
26:41भारत के हवाले से ये प्रशन उठना लाजमी है कि रूस कैसे बैलन्स करता है और कैसे बैलन्स करेगा
26:48दोनों देशों के बीच जो तनाव है उससे दोनों नेता चिनते थें वो समस्या का समाधान भी करना चाहते हैं
27:01प्रयास कर भी रहें नतीजे पर भी पहुँचेंगे मैं उन दोनों के लिए बहुत खुश हूँ
27:07दरसल RIC यानि रूस इंडिया और चाइना के बीच एक संगठन के तौर पर साथ आने की बातें उड़ती हैं
27:25इसी साल संगहाई में S.C.O. समिट में जैसे पीएम मोदी, शी जिन पेंग और व्लादिमीर कुतिन सामने आए
27:31उसने कई कयासों को बल दिया क्योंकि पारसपरिक रिष्टों से अलग तीनों का एक कॉमन इंट्रेस्ट भी है
27:37भारत अमेरिका का सहयोगी था लेकिन 50 प्रतिशत चारिप के साथ अमेरिका का दुश्वन जैसा बरताव
27:42चीन अमेरिका का प्रमुक रणनीतिक प्रतिद्वन दी रूस अमेरिकी प्रतिबंधों से परिशान और अमेरिका समर्थित यूकरेन युद से तंग
27:51लेकिन क्या संभव है रूस भारत चीन का एक संगठन के तौर पर साथ आपाना
27:57इसमें कई पेचीदिया है रूस भारत का साथ ही है लेकिन चीन के अतिवाद के खिलाफ भारत के समर्थन की जगे शान्त रहता है
28:04क्योंकि रूस के संबंध चीन से सबसे अधिक प्रगाण है रूस भारत पाकिस्तान के मुद्य पर भारत का साथ देता है लेकिन चीन के मामले में चुपी साथ देता है
28:12अब इसी तरह अगर चीन के साथ भारत के संबंधों को देखा जाए तो भारत चीन के बीच सबसे बड़ी समस्या उनका लंबा सीमा विवाद है
28:20हिमालेक शेत्र में 3488 किलोमीटर की एक अस पष्ट सीमा को लेकर उनके बीच मतभेद है
28:271962 में ये मतभेद जंग में तबदील हो गए थे और आज भी तनाव बना हुआ है
28:322020 में लद्दाख की गलवान घाटी में दोनों देशों के सैनिकों में हिंसक जड़ा फो गए
28:37इससे राजनईक संबंध खंडे पड़ गए
28:40नई दिल्ली ने चीनी नागरेकों के लिए परिटक वीजा निलंबित कर दिया और तक्नीकी आयात पर प्रतिवंध लगा दिये
28:46बात सिर्ट सीमा विवाद तक ही सीमित नहीं है
28:48हाल ही में भारत ने जब पाकिस्तान के खिलाफ ओपरेशन सिंदूर शुरू किया
28:53तो प्रत्यक्ष रूप से चीन की तरफ से उसे मदद मिले
28:56इसके अलावा पाकिस्तान पोशित आतंकियों को बचाने में चीन हमेशा आले आता रहा
29:01अब व्याभारिक रूप से देखा जाये तो समझा जा सकता है कि भारत के सामने और क्या परिशानिया आ सकता है
29:08रूस बीजिंग से बेहत खरीग है
29:102004 में रूस के क्रीमिया पर वबजे के बाद पश्चिमी देशों के प्रती बंधों के चलते रूस और बीजिंग के संबन्ध मजबूत है
29:17दोनों के बीच व्यापार रिकॉर्ड स्थर पर पहुँच गया जो 200 बिलियन डॉलर को पार कर गया
29:22ऐसे में भारत की भूमिका क्या रहे कि
29:24कम से कम भारत जूनियर पार्टनर बनकर तो नहीं रहना चाहेगा
29:28ये सही है कि साल के पहले 9 महीनों के मुकाबले
29:35अब भारत के साथ दूई पक्षिय व्यापार में कुछ कमी आई है
29:40लेकिन इसे एक तरह के समा योजन के रूप में देखा जाना चाहेए
29:45पर कुल मिलाकर भारत के साथ रूस का व्यापार लगभग पहले जैसा ही है
29:50लेकिन यहाँ एक बात जो सबसे जरूरी है समझने के लिए
30:09वो यह है कि तीनों को आपसी जरूरत जोड़ती है
30:12आपसी विश्वास नहीं और क्या अविश्वास की संदिक्ता रहने पर
30:16रिष्टों की बुनियाद मजबूत रहेगी
30:18इसमें संदे है चीन के साथ भारत को विश्वास के रास्ते पर आगे बढ़ने में
30:22कई रुकावटे सामने आने वाले वर्षों में रुकावटे दूर हो जाएं तो दुनिया बदल भी सकती है
30:28एक समय था जब भारत की विदेश नीती नॉन अलाइंड मूव्मेंट के रूप में देखी जाती थी
30:36आज की तारीख में भारत एक मल्टी पुलारिटी वाले विश्व ओर्डर के बीच खुद को किस तरीके से स्थापित कर चुका है
30:46ये भी सब देख रहे हैं
30:48दो देश आपस में भले दुश्मन हो लेकिन भारत दोनों से अच्छे रिष्टे और अपने हित को सबसे आगे रखते हुए रिष्टे मेंटेन कर सकता है
30:58ये कहा जा सकता है कि भारत वर्ल्ड ओर्डर में सिर्फ एक दर्शक नहीं बलकि दिशा निर्धारित करने वाला देश है
31:06अई सब ग्लोबल साउथ 21 सदी की बदलती हुई दुनिया का सबसे अनूठा मंच है
31:17जी ट्वेंटी की 200 से अधिक बैठकों में हमने ग्लोबल साउथ की फ्राथ्विक्ताओं को प्रमुक्ता दिए
31:41प्रधान मंत्री नरेंदर मोदी की साख दुनिया भर में लगतार बढ़ रही है
31:45वो आज एक ऐसे नाम बन गए हैं जिसने पिछले कुछ सालों में वैश्विक मंचों पर भारत की आवाज को नई उचाई दी है
31:51विकार शील देशों की बार जब भी सामने आती है तो दुनिया सुनती है कि भारत क्या कह रहा है
31:58जब भारत ने जी ट्वेंटी की अध्यक्स्ता संभाली तो हमने इस फ़रम में ग्लोबल साउत के देशों की आवाज को आगे भणाना अपना दाईत्व माना
32:22हमारी प्रात्विक्ता थी कि जी ट्वेंटी को ग्लोबल स्केल पर समावेशी और हुमन सेंट्रिक बनाया जाए
32:34हमारी कोशिस थी कि जी ट्वेंटी का फोकस हो डेवलपमेंट आप दे पीपल बाइद पीपल एंड फोर दे पीपल
32:52यह सिर्फ भारत की जी ट्वेंटी अध्यक्षता या बड़े समिट्स की वज़े से नहीं बलकि उस कूटनीतिक रणनीति की वज़े से है जिसके केंदर में ग्लोबल साउथ को रखा गया है
33:07मोदी ने दुनिया को साफ संदेश दिया है कि विश्व व्यवस्था का भवश्य सिर्फ अमीर देशों की मेज़ पर तै नहीं होगा उसमें उन 125 देशों की भी भूमिका होगी जिनकी आबादी दुनिया का बड़ा हिस्सा बनाती है
33:19इस डेकलरेशन को एड़ अप करने की गोशना करता हूँ
33:23भारत ने जब वोईस ऑफ ग्लोबल साउथ इस राइट फूल सीट अट राइट आवर्ट आवर्ट
33:37भारत ने जब वोईस ऑफ ग्लोबल साउथ
33:49समिट का आयोजन किया तो दर्जनों देशों को एक साथ लाकर बताया कि भारत अब सिर्फ मंच पर मौजूद एक देश नहीं बलकि मंच तैयार करने वाला देश है
33:57जी ट्वेंटी क्या धिक्षता इसका सबसे बड़ा उधारान बनी भारत ने एजन्डा सेट किया प्राथि मिक्ताय तैकी और दुनिया को ये दिखाया कि उभरती अर्थ व्यवस्थाओं की चुनोतियां किसी भी ग्लोबल चर्चा का हिस्सा बने बिना हल नहीं हो सकती
34:11इसमें एशिया अफ्रीका और दुनिया के विकास शील देश आते हैं इसमें एशिया अफ्रीका और
34:41दक्षिन अमेरिका के कई देश शामिल हैं जबकि ग्लोबल नॉर्थ में विक्सित देश आते हैं इसमें अमेरिका, कैनेडा, रूस, योरप, ऑस्ट्रेलिया और न्यूजिलेंड आते हैं
34:50प्यम मोधी की कूटनीती की बड़ी ताकत यही है कि भारत किसी ब्लॉक, किसी गटपंधन का फॉलोवर ना होकर एक बैलेंसर की भूमिका में रहता हैं
35:02एक भरोसेमंद शक्ति जो अमेरिका और यूर्प के साथ भी मजबूत रिष्टे रखता है और रूस, खाली देशों, अफ्रीका और दक्षिन पूर्व एशिया के साथ भी उतना ही ग्यहरा संबाद रखता है
35:13भारत और रूस के बीच, यूएन, जी ट्वेंटी, ब्रिक्स, एस्सियो तत्या अन्य मंचों पर करीबी सयोग रहा है
35:27करीबी तालमेल के साथ आगे बढ़ते हुए हम इन सभी मंचों पर अपना संबाद और सयोग जारी रखेंगे
35:38एक्सलेंसी, मुझे पूरा विश्वास है कि आने वाले समय में हमारी मित्रता हमें ग्लोबल चलेंजिज का सामना करने की शक्ती देगी
35:53और यही भरोसा हमारे साजा भविश को और सम्रुद्द करेगा
36:00जही वज़े हैं कि आज भारत क्वार्ड में है, ब्रिक्स में भी है, एस्सियों में भी है और इंडियो प्रसिफिक की सुरक्षा में भी
36:13भारत ने अफ्रीकन यूनियन को G20 की स्थाई सदस्यता दिलाई, जलवायू परिवर्तन पर भारत ने क्लाइमेट जिस्टिस की जोर्दार वकालत की, महामारी के दौरान वैक्सीन मैत्री ने भारत की छवी और मजबूत की, भारत ने सौ से जादा देशों को दवाईयां �
36:43भी की जाती है, भारत आप सिर्फ एक उभरती अर्थ व्यवस्था नहीं, एक उभरती नेतृत्व शक्ति भी है।
37:13झालत की जादा देशों की जाती है, भारत नेतृत्व शक्ति भी है।
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