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  • 4 hours ago
कत्ल के बाद जब पत्नी बन गई 'भूत', देखें 'क्राइम कहानियां विद शम्स'

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00:00प्राव नौस्कार गुड़ इवनिंग सर्शेकार एक बाद फिर आप तमाम लोगा स्वागत है क्राइम कहानिया विद शम्स
00:30कार डिकती है पुलिस वाला कार का दर्माजा खोलता और मैडम उस कार के अंदर बैठ जाती है एक तस्वीर खब्र थोड़ी देर के बाद एक फिर दूसी तस्वीर में ये मैडम नजर आती है इस बार मैडम के साथ एक पुलिस वाली और आगे आगे भी दो पुलिस वाले कु
01:00अब एक तीसरी तस्वीर दिखाते हैं चार महीने पहले के
01:03चार महीने पुरानी तस्वीर ये शायर दो तीन जुलाई की है
01:06रात के बारा बचकर साथ मिनट हुए है
01:08सिसी टीवी कैमरे में एक लेडी दिखाई देती है
01:11जिनका पीठ हमारी तरफ है
01:13और वो बहुत तेज कदमों से चली जा रही है
01:15तो ये तीन तस्वीर आपको दिखाती है
01:18तो ये तस्वीर आपने देख लिए आप कहेंगे कि इस तस्वीर की कहानी क्या है
01:21तो ये जो मैडम नुडा में आपको घूंते वे दिखाई दे रही हैं
01:25और साथ में पलिस वाले हैं
01:27पलिस वाला कार का दरवादा खूल करें ने बिठा रहा है
01:30असल में ये एक भूद है
01:33आप ये की निए कहेंगे कि मजाग कर रहा हूँ
01:38सत्मुची एक भूद है
01:40इसलिए ये भूद है
01:41कि इन मैडम का गतल चार महीने पहले हो चुका है
01:45चार महीने पहले ये मर चुकी है
01:48और इनके गतल का इल्जाम किसी और पर नहीं बलके खुद इनके अपने पती के उपर लगा
01:53और ना सिर्फ इल्जाम लगा बलके पुलिस ने उस पती को ग्रफतार कर लिया
01:58नस तरफ ग CARS SHEET बाल्के ग्रफ्तार करने के बाद जेल भेज़ दिया
02:03नस सरफ जेल भेज़ा बलके तीन मेना जब बीड गया तो एक तैमियाद होती है 90 दिन के अंदर
02:08क्यार शेट दाखिल करना आरोग पत्र दायर करना
02:11तो पुलिस ने चार शेट भी दाखिल कर दी
02:14और चासीट में इल्जाम यही था
02:16कि इस पती ने अपनी पत्नी को किड्नैप किया
02:19किड्नैप करने के बाद उसका कत्ले किया
02:21कत्ले करने के बाद उसकी लास को कहीं चुपा दिया
02:23यह सब कुछ कानून के पन्नों में दर्च है
02:27पत्ती अभी जब मैं आपको कहानी सुना हुआ है इस वक्त भी केल में है पिछले चार महीने से
02:34लेकिन जिस पत्नी के कतले का इल्जाम है वो पत्नी भूत बनकर पिछले चार महीने से लोड़ा में गोम रही है
02:45और अब जब उस भूत को कुछ लोगों ने पहचान लिया तो पुलिस पहुची है और इस वक्त वो मैडम पुलिस के साथ है
02:52कायदे से हिरासत में है लेकिन इस वीडियो को देखकर कहीं से लगता नहीं है कि यह हिरासत में है
02:57ऐसा लगता बलके पुलिस वाले उनकी लखवाली के लिए या उनके महाफिज बनकर चल रहे है
03:03और वो लगता है हिरासत में भी हाथ में फोन फोन पर बातचीत और कंटीनू बातचीत चल रही है
03:10तो आपने अभी अभी जो देखा वो एक जिल्दा भूत है जो चार महीने पहले जिनका कतल हो चुका है
03:17अब पूरी कहानी क्या है तो फिर आपको पूरी कहानी सुनाता हूँ
03:25इसी साल मार्च में बिहार के मुतिहारी इलाके में रंजीत कुमार नाम के एक लड़के की शादी होती है
03:37शादी घरवालों की मर्जी सोई थी
03:39रंजीत पढ़ा लिखा ठीक ठाक परिवार
03:42रिष्टे की बात चली तो पढ़ोस की गवाँ में एक लड़की जिसका नाम गुंजा
03:47तो गुंजास के साथ रिष्टा तै होता है दोनों परिवार
03:51राजी राजी होने के बाद मार्च में मार्च दोहजार पच्चिस में
03:56गुंजा और रंजीत की शादी करती जाती है
03:58शादी के कुछ दिन के बाद गुंजा अपने सस्राल पहुंच जाती है
04:04अब गुंजा सस्वाल में है, पती-पती दोनों खुश है, धीरे धीरे वक्त आगे बढ़ना है। लेकिन जैसे वक्त आगे बढ़ना है, तो गुंजा की जो हरकते हैं वो सस्वाल वाले अप रोटिस करना शूरू करते हैं।
04:16वो देखते हैं कि जब रंजीत यानि उसका पती चला जाता काम पर तो गुंजा अपने मोबाइल पर लग जा थी
04:25पहले तो घरवालों को यही लगा कि विचारी सुस्वराल आई है माईके की याद आती है माँबाब भाई बहन से बाते होती होंगी
04:32चलता रहा लेकिन बातों का सलसला मिंटों से जब घंटों में तब्दील हो गया तब उन्हें शक हुआ उन्हों अपने बेटे को बताया कि बहुतो दिन बर फोन पे ही लगी रहती है
04:43अब रंजीत ने भी देखा कई वार जब उसकी चुट्टी होती संड़े को वो घर पे होता तो उसकी बीवी दूर बैट कर कहीं फोन पे लगी रहती है और घंटों
04:52रंजीत ने पूछा कि क्या तुम्हें घरवालों को याद आती है माबाब भाई बहन तो फिर मैं तुम्हें ले ले चलता हूँ कुस दिन वहां रह लो किती नहीं ऐसी कोई बात नहीं है
05:04लेकिन दीरे-दीरे अब रंजीत को भी शक होने लगता है रंजीत अब उसका मोबाईल चेख करने की कोशिश करता है गुद्जा मना कर देती है फोन लौक लगा रका था उस्वें वो उसको पासवर्ट पता ले है मोबाईल छूने नहीं देती खोलने नहीं देती
05:22अब रंजीत के दिल में शक पैदा होने लगा
05:24कई बार इस बात को लेकर जगड़ूई पड़े दो
05:28पिर आती है तीन मार्च की रात
05:31तीन मार्च दोहजार पच्चिस
05:33रंजीत और गुंजा एक कबरे में सो रहता
05:36तभी तीन मार्च दोहजार पच्चिस
05:40कि उस रात देर रात आँख खुली
05:45तो रंजीत ने महसूस किया गि
05:46गुंजा उसके पास बराबर में नहीं लेटी हुई है
05:49उसने देखा बत्ती जलाई देखा गुंजा है नहीं
05:51बाहर निकला दूसरे कमरों में देखा वाश्रूम में देखा कहीं नहीं
05:54फिर अपने माबाप को उठाया
05:56दर्वादा देखा अंदर से कुंडी जो है
05:59खुली भी है
06:01बना लोग लगा कर सोते हैं
06:03अब उसे फिक्र होने लगी वो बाहर भागा
06:07बदहवास यदर उदर देखने लगा रात को पडोसी भी जागे
06:10कहीं है नहीं आज पास सस्राल फोन किया
06:13उन्होंने का नहीं आ तो है नहीं
06:14फिर सीची टीवी कैमरा खंगाला गया
06:17जब सीची टीवी कैमरा खंगाला गया
06:19तो यह वही कैमरा है जो मैंने आपको शुरू में दिखाया
06:21तीन जुलाई शादी के चार मेंने बात किये है
06:24रात के बारा बचकर सात मिनट पर कैमरे में वक्त बिखा रहा है
06:27और इस कैमरे में यही गुंजा रंधीत की वाईफ
06:33तेज कदमों से कुछ घब रही हुई से घर से बाहर निकलती है
06:37और फिर तेजी के साथ ही कैमरे के फ्रेम से गायब हो जाती है
06:41अब जब उसने देखा कि वो तेज कदमों से जा रही है या आस पास कहीं खबर नहीं
06:46चार तरफ ढूम लिया अगले दिन चार जुलाई को
06:50अब रंगीत अपने घरवानों के साथ
06:54अरेजा पुलिस टेशन है वहाँ पहुंसता है मुतिहारी में
06:58और वहाँ जाकर अपनी वाइफ की गुमसुद्गी की रिपोर्ट लिखा देता है
07:02और वो ये भी बताता है कि रात को वो एक सी सी टीवी कैमरे में जाते हुए दिख रही है
07:07पुलिस वाले कहते हैं वो कैमरा वैमरा छोड़ दो वो हमारा काम है
07:10गुमसुद्गी की रिपोर्ट लिखते हैं और फिर कहते हैं कि तुमने तो गायब नहीं किया फिर कहते हैं
07:14देखो मैं तो ढूनूँ गाले कि तुम भी ढूनो
07:16मिल जा तो बताना
07:17परिशान रंजीत कहता है ठीक है वहां से निकल लेता है
07:22सुस्राल वालों को पता सुस्राल वाले भी पहुंच चुके थे
07:25अब सब मिल कर दिदरोदर अपने जानकार दोस्तों सब को ढून रहे हैं कहीं कोई नहीं मिल रहा है
07:29तभी साथ जुलाई को अचानक
07:33गुंजा के घरवाले यानि रंजीत के सुस्राल वाले उसी पुलिस टेशन में पहुंचते हैं
07:38और एक नई कंप्रेंट दच करा देते हैं
07:41वो कहते हैं हमें शक है कि रंजीत ने दहेच की वज़़ा से हमारी बेटी को मार दिया
07:45मारने के बाद लाश कहीं चुपा दी
07:46अब ऐसी चार दिन से पुलिस रंजीत ने जो शिकायत पिस पे कोई एक्शन लिया
07:53उल्टागा तुम ढूंडो
07:54अब सुस्राल वालों ने जब कंप्रेंट लिखी
07:58तो बस आनन फानन में पुलिस ने बिना कोई इंक्वारी बिना किसी जाँच के
08:02सीथे रंजीत को ग्रफतार कर लिया
08:05F.I.R. दज की
08:06F.I.R. में ये था कि
08:08रंजीत ने अपनी बीवी गुंजा को किड्नाप किया
08:10उसे मार डाला
08:12और लाश कहीं चुपा दिया
08:13अब हम उससे उगलवाएंगे कि लाश कहा चुपाई है
08:15F.I.R. दज रंजीत की रफतार
08:18अब पुलिस के लिए मामला बड़ा असान हो गया
08:20कंप्लेंट पे बिना किसी तफ्दीश
08:22बिना किसी जाँच बिना गुंजा को ढूंडे हुए
08:24बिना उसकी लाश को ढूंडे हुए सारा इल्जाम
08:26सारा इल्जाम का ठीक रा
08:27रंजीत यानि गुंजा के ही पती पर डाल दिया
08:30और उसके बाद उसकी पुलिस का स्टेडिली उससे पूस्ताच की
08:34F.I.R. दज पुलिस रिमान पूरी हुई
08:36लेकिन न गुंजा की लाश का सुराग मिला ना ही
08:38रंजीत ने अपता जब कुबूल किया
08:40तर पुलिस को इससे क्या फर्क पड़ता है
08:42इसके बाद पुलिस रासत की मियाद खत्म हुई
08:45रंजीत को भेज दिया गया जेल
08:47अब रंजीत जेल में
08:48कमाल का केस था की लाश ही नी
08:52और रंजीत जेल में अपनी पत्नी के कतले के इल्जाम में
08:55और अब पुलिस को लगा चलो एक केस खत्म
08:57अब धीरे धीरे वक पीता
08:59अब कानून ये कहता है कि किसी भी केस में
09:0390 दिन के अंदर 4 शिट दाखिल करनी है
09:05अब 3 मेंने हो गए
09:07रंजीत को जेल के वे
09:09इदर बिचारे घर वाले
09:10रंजीत को जेल से बेल लिलाने के लिए
09:13अपनी तमाम कोशिश कर रहे हैं
09:14वकील वकील सब कर चुके
09:16घर की जमापूंजी अब धीरे धीरे
09:18खर्च होने लगी
09:19बेल पे बेल रिजेक्ट हो रहा है
09:22क्योंकि पुलिस ने केस ऐसा बना रखा था
09:25रंजीत बार बार चीख रहा है
09:27कि मैं तो बेकसूर है
09:28मैंने तो सीसी टीवी दिखाया
09:30और कमालिये कि सीसी टीवी एक एविडेंस है
09:32कि उस रात गुंजा अकेली जा रही है
09:35अगर उसका कतल हुआ उसका किर्नेप किया गया
09:38तो उसके साथ कोई तो होना चाहिए
09:39जबकि वो अकेली है
09:41और ये भी विटनेस सबूत और बागी के सीसी टीवी कैमरे से
09:44पता चला कि उस रात
09:45रंजीत अपने घर से बाहर ही नहीं निकला
09:48जिस कैमरे में गुंजा कैदी उस कैमरे में वो था ही नहीं
09:51इस से ज़्यादा और सबूत क्या चाहिए
09:56लेकिन पुलिस काम करना नहीं था
09:58इजली केस को सॉल्व करना था उनोंने कर दिये
10:02अब मुकदमा चल रहा है
10:05पैसे खर्च हो रहे है बदनामी अलग हो रही
10:18और फिर इसके बाद तीन जुलाई की रात
10:21रंजीत ने अपनी पत्नी को मा डाला मारने के बाद
10:24उसकी लाज़ घर के बाहर ले जाकर कहीं चुपा दी
10:26कहीं दफना दिया गाड़ दिया फेक दिया
10:28और रंजीत ही अपनी वाइफ के किड्नेपिंग और मर्डर के लिए
10:34एक लौता एक्यूस्ट है
10:35और फिर उन्हें ने चासीर में सारे सबूत भी दिखा दिये
10:39कि ये सबूत हैं ये विटनेस हैं इसने ये गवाई दिया
10:42सबूसराल वाले को कर दिया कि इनका भी ये कहना है
10:44धहिज मांगता था पीड़ था ता
10:46पुलिस का काम असान अब
10:49चासीर दाखिल और अब ट्राइل शरू होना था
10:52तीन महीने के बास चासीर दाखिल उए चौत्छे महीने में
10:57अब ट्राइल और आरोप पत्र दाखिल होने वाले थे
10:59इत्वाक से जब आरोप पत्र पर सुन्माई होनी थी
11:03और मुतिहारी की कोट में सेशन कोट में इस पर अब जिरह शुरू होनी थी
11:08अचानक एक फोन आता है नोईडा से मुतिहारी के
11:13और कहा जाता है कि
11:15रंजीत की जो बीवी है
11:18उसके भूत को नोड़ा में देखा दिया
11:21कुछ लोगों ने देखा पैचान लिया
11:23बहुत सारे लोग नौकली की तराश में
11:25अलग-अलग शहरों में एक ही इलाके के काम करते हैं
11:28तो यहां से जब खबर गई तो फिर घरवाले तो खबर पहुँची घरवाले भागे भागे पुलिस के पास गए
11:33उन्हों का साहब गुंजा तो नौड़ा में देखी गई है
11:36चलिए गुंजा को लेकर आते हैं ताकि रंजीत जेल से बाहर आजा
11:41कमाल देखी अब फिर भी पुलिस का मुतिहारी
11:45क्याती अच्छा नौड़ा में देखी गई यह गुंजा यह उसकी भूत ठीक है चलते हैं
11:50बढ़ जाएंगे कैसे नौड़ा दूर है मुतिहारी से
11:54तो साधन वाधन कुछ इंतिजाम किया जाए गाली बारी का
11:58रंजीत के पिता को कहा जाता है अब गाली का इंतिजाम कीजिए
12:04सफर का इंतिजाम कीजिए रास्ते में खाने पीने का इंतिजाम कीजिए
12:07और हम प्रियाटक टूरिस्ट की तरह आपके साथ चलेगे
12:09एक केस है जो मडर का केस है और उस पे पुलिस का ही रवया
12:14जबके कानून यह है कि किसी भी केस में जो रिजिस्टर हो गया अगर उसमें आपको कहीं कोई सुराग मिलता है
12:20कोई अरिस्टिंग करना है कहीं से एविडेंस क्लेक करना है
12:22तो पुलिस सरकारी खर्च पर जाती है
12:25बाकाइदा हर पुलिस हर स्टेट सेंटरल इजन्सियों को एक पुलिस में अलग से फंड होता है
12:30जो इन्विस्टिगेशन के उपर खर्च किया जाता और यह पैसे सरकार देती है
12:34तो अगर मुतिहारी से नोड़ा आना है अब वो अलग बात है
12:38डिपेंड करता है सिस्टेशन पर कि आप ट्रेन से आ रहें कि आप प्लेन से आ रहें कि बाहरोड आ रहें
12:42लेकिन वो खर्च वो बजट आप बिल दीजिए अगर आपने गाड़ी हायर किया वो सरकार देगी
12:48वो पुलिस देगी लेकिन यहां कमाल पुलिस
12:52कहती है कि ठीक है चलेंगे अब उसको लेकर तो आएंगे लेकिन पहुंचे रहें नुड़ा कैसे तो आप गाली वारी हायर किजी
12:58अब मरता क्या ना करता है रंजीत के पिता एक गाली हायर करते हैं
13:03सब हो गया कहते हैं वा यह साथ अब पुलिस वाले गाली में बैठते हैं
13:09वहां से अब पहुंचते हैं नुड़ा नजदीक तो है कई सो किलो मिटर है
13:13रास्ते में खाते हैं पीते हैं रंजीत के घरवा लोगा एक तरह से टूरिस्ट बनकर नुड़ा पहुंचते हैं
13:24नोड़ा आते हैं फिर शक्स ने बताया था कि यहां हो उसकी भूत देखी गई है उसके बाद उधर जाया जाता है फिर एक घर पहुंसती है पुलिस नोड़ा पुलिस की मदद से धर की गंटी बजाए जाती है दर्वाजा खुलता है अंदर दो लोग दिखाई देते है एक �
13:54अब पुलिस दोनों से पूस्ताच करती है गंजा को अपने साथ लेती है यह जो विडियो आपने देखा फोन पर यह उसी वक्त का है तब भी गंजा के हाव भाव वहीं पुलिस की साथ ऐसे चल रही है जैसे पुलिस वाले उसके सीक्रेटी दे रहे है फोन पे लगातार ल
14:24अब बोलता है कि भाई यह क्या है एक पंदा चार महीने से जेल में है अपनी ही बीवी के कतल का इलजाम है आपने चार सिर्ट दाखिल कर दी पूरी कहानी सुना दी सारे संबूत एकटा करके कोट में दे दिये कि यही है बट उसके भूत तो नोड़ा में भोम रही है चार म
14:54और उन्होंने कहा कि असल में सहब जब यह हुआ मा जुलाई में जब फो गॉंजा घाव होई या उसका कटल हुआ तब मैंने यहां आकर पद्ध ग्रहन किया ही नहीं था
15:07अब पद ग्रहन हिंदी का एक्षब मतलब आपने चार्ज नहीं लिया तो समझ में आता है पद जो ग्रहन अमूबन मंत्री डोग करते हैं अब आपको लगे मैं मदाग करना तो पहले ये पुलिस वाले साहब से ही सुल लिजे क्या कह रहे हो तर जिस लड़की के हत्ते है कि आ
15:37अब उसके माता-पिता कहीं पर उनको फोटो वेगरा इसब राप्त हुआ उसका अदहार पर ये थानव पर आकर बताये कि हमारी वेटी को यह जो उसके पती है और उसके घर वाले लोग उसको मारके गयप कर दिया तो इसमें उसका जो लगी है उसका पती जिल चला गया और
16:07हुए थे इसमें की नौइडा से वोलर की सकुषल प्रावमत हो गई है और इसमें आगे की परकिरिया की जा रही है उसके प्रेमी के साथ पगड़ाई है अभी उसमें जांच किया जा रहा है उसके जिल दिया जिया देख लेता है पुष्टी कर दिया जाए तो जिनोंने प
16:37चार्शीट में गवा, सबूत ये सब कहां से आपने पेश कर दिया कोट में उस शक्स के खलाफ जिसकी पतनी के कतल का इलजाम में आज तक लास नहीं मिली कोई स्रक्प्स्रेंशल एविडेंस नहीं मिला और आप करें तब पत गरहन नहीं किया तो अब क्या कर रहे थे आप
17:07खैर अब ये पत गरहन पतनी आगे कितनी बारा और करेंगे लेकिन तमाशा बन गया तो अब खैर चार महीने पहले जिसका की हत्या हो चुकी थी खतल हो चुका था वो गुंजा भूद बनकर रोड़ा में मिल गई अब सवाल ये था कि ऐसा हुआ क्यों तो पूरी कहानी कु
17:37किसे प्यार करती थी दोहजात तेईस से वो एक रिलेशन्शिप में थी और वो उससे शादी करना चाहती थी इस बीच में एक शरीफ लड़का दिखाई थी अगर वालों को रंजीत और उसके बॉइफरेंड के बारे में पुरानी को जानकारी थी नहीं कि गुंजा गाउं
18:07रहा और फिर वो अपने पुराने प्रेमी से कहती कि तुम्हारे ही साथ रहना कुछ करो अब उसका आशिक नोड़ा में जॉब करता था तो फिर ये प्लान ये तरकीब बनाई गई कि एक रोज गायब हो जाते हैं और नोड़ा जैसे शहर में हम लोग अपनी एक नहीं जिन
18:37ता कहीं दूर फिर दोनों वहां से अलग-अलग रास्तों से होते हुए नोड़ा आ जाते हैं नोड़ा में प्रेमी पहले से काम कर रा था अब उसी के घर में दोनों रहने लगते हैं और चार मेहने तक यहां अराम से यहां उसके पीछे में यह हुआ
18:49कि उसी गुंजा के गतले के इल्जाम में उसके पती को पुलिस ने पकड़ लिया सिर्फ अपनी नाकामी या अपनी लापरवाही को चुपाने के लिए
18:55वना वो सीसी टीवी कैमरा ऐसा चश्मदीब एक परसे गवाही या थबूत कहे आप
19:01कि जिस पे कोई भी एक समझदार पुलिस वाला जांच करता तो ये नौबत नहीं आती
19:06लेकिन गरीब रंजीत कुमार को अपनी बीवी के कतले के इल्जाम में पुलिस ने गिरफ़तार कर सारा इल्जाम उसी पर धर दिया
19:13चार महिने से बिचारा वो जेल में
19:15अब गुंजा हो या उसके भूत जो भी मिल गई है
19:21अब वही पुलिस जाएगी कोट पे
19:23मुझे तो ये समझ में यारा जाने के बाद वो ये कैसे कहेंगे
19:26कि ये जो बैया चार सीट इतना चार सीट छोटा मुटा नहीं होता
19:29कई सो पन्नों का होता है
19:30तो कई सो पन्नों के जोट उस पुलिस ने कैसे लिखवाया होंगे
19:34मैं तो ये सोच कर है रान
19:35कम से कम तीन-चार सो पन्नों के चार सीट होगी
19:39तीन-चार सो पन्ने जोट का पूरा पोथा
19:44कैसे बैठ के वकील को लिखवाया होगा
19:46मैं तो वाकिए दाद देता हूँ ऐसे पुलिस वालों को
19:49तो वो अमीद ये की जानी कही है कि अगले एक दो दिन के अंदर
19:54रंगीत बाहर आ जाएगा
19:57क्योंकि जिसका कतल है किया वो कतल तो कभी हुआ है नहीं
20:01उसने किया नहीं बलकि हुआ ही नहीं
20:03मुर्दा जिन्दा है
20:05अब मुर्दा बनने के चक्कर में
20:09जो भी है कुछ धारा है शायद गुंजा पर भी लगे हो
20:11उसके बॉयफरेंड पर भी लगे है पर बहुत ज़्यादा संगीन इलजाम नहीं लगेगा
20:15क्योंकि गुंजा ने कोई साजिश नहीं कि थी
20:17कि मैं अपने आपको एक मुर्दा दिखाऊंगी और उसके अख़ाम में मेरा पती जिल जाएगा
20:21वो तो हाला तैसे होगे पुलिस की वज़ा से
20:23लेकिन यहां पर यह सवाल है कि जिस पुलिस ने
20:27सारे सबूत होते हुए
20:29सेसी टीवी कैमरा होते हुए
20:30एक बेगुना को अपनी ही बीवी का कातिल बता कर जेल भेज़ दिया
20:34और पिछले चार महीने से वो जेल में है जिसके खलाब
20:37चार शीट के इसो पन्नों की दाखिय कर दी
20:39क्या ऐसे पद्गरहन न करने वाले पुलिस अफसरों
20:44के खलाफ
20:45तमाम धाराओं में लपेटते हुए
20:48इन्हें सजा नहीं दी जानी चाहिए
20:50एक पुरी जिंदगी बरबात कर दिया आपने
20:53चार महीने वो घर उजड़ गया बिखर गया
20:56जमापूजी खतम हो गई
20:57तो क्या ऐसे पुलिस वालों पे खलाफ एक्शन नहीं होना चाहिए
21:01बिलकुल होना चाहिए
21:04ताकि ये सब एक सबक हो लेकिन हमारे कहने से
21:07और आपके सुनने से क्या होने वाला कुछ नहीं होगा
21:09इस केस में भी कुछ नहीं होगा
21:11तो ये थियात की कहान
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