जनसुराज को बिहार ने क्यों नकारा? ये है असली वजह! क्या जनसुराज बिहार की राजनीति में अपनी छाप छोड़ने में नाकाम रहा? इस वीडियो में हम आपको बताएंगे उन अहम कारणों को जिनकी वजह से बिहार की जनता ने जनसुराज को स्वीकार नहीं किया और इसके पीछे की गहराई से पड़ताल करेंगे। बिहार की राजनीति में जनसुराज एक उम्मीद की किरण बनकर उभरा था, लेकिन चुनाव परिणामों ने सबको चौंका दिया। इस रिपोर्ट में हम विश्लेषण करेंगे कि आखिर क्यों जनसुराज बिहार की जनता का विश्वास जीतने में असफल रहा। क्या प्रशांत किशोर का विजन और उनकी रणनीति लोगों तक नहीं पहुंच पाई? हमने उन प्रमुख उम्मीदवारों और उनकी हार के पीछे के कारणों पर गौर किया है, जो जनसुराज के बैनर तले चुनाव लड़े थे। About the Story: This video deep dives into the reasons behind Jan Suraaj's rejection by the people of Bihar. It analyzes the factors that led to the party's failure in gaining public trust, exploring campaign strategies, local issues, and the overall political landscape of Bihar. Key candidates and their performances are scrutinized to understand the pulse of the electorate.
00:00बिहार चुनाओं के नतीजे बहुत ही चौकाने वाले आ रहे हैं
00:03सभी exit पोल भी फेल हो गए हैं
00:05NDA को जिता कर भी कैसे
00:06जितना seat का उन्होंने अनुमान लगाया
00:08अनुमान से बहुत जादा seat है NDA को मिल रही है
00:10महागडबंधन का सूपड़ा साफ होता दिखाई पढ़ रहा है
00:13इसके साथ ही एक और पार्टी है जिसका सूपड़ा साफ हो रहा है
00:16वो है जन सुराज पार्टी और प्रशान्त किशोर
00:20उनके पारे में ही बात करने के लिए हमें अंखड़े
00:22कि आखिर ऐसा क्या हुआ जो व्यक्ति दावे कर रहा था कि रोजगार और पलायन का मुद्दा उठा कर वो सबसे ज्यादा सीट लेकर आने वाला है आज उसके पास उसके खाते में एक भी सीट नहीं बचे हुए है यानि कि जीरो पर चिछल रहे हैं अभी प्रशांत किशोर �
00:52सूपड़ा साफ हो गया उसमें थोड़ा क्रेक्शन है प्रसांत किशोर का सूपड़ा था ही नहीं तो साफ यह जीरो पर थे जीरो पर उनकी शुरुआत नहीं ले एक बात वी ने बाट हुए तो प्रशांत किशोर जो यह दावे कर रहे थे अभी भीन परसेंट एक्यूरे
01:22देखिए विहार का दुरभाग्य है, मैं ये नहीं कह रहा हु कि बीजेपी जीत गई है, आरजेडी हार गही है, प्रसांद किशौर को षीटे नहीं मेरे बिहार का दुरभाग्य है कि 2005 के बाद से विहार के हर चुनाव में मैंने कवर किया है,
01:36विहार के हर चुनाव को मैं देखता रहा हूं पहली बार ऐसा दिखा था ग्राउंड पे जो नेता है जहां प्रशांत किशोर ने शुरुवात की हो या जस्वी आदम ने शुरुवात की हो इस बार चुनाव में जो नेता थे वो मुद्दों की बात कर रहे थे रोजगार की �
02:06विहार के लिए और मुद्दों में जो नहीं मिलता है तिकट नहींハंके बाद प्रशांतकिशोर की पार्टी साइध
02:28वहतने लगता है दो उनकी पार्टी हारी कहा लोगों ने उनके जो मुद्य थे उसको बाइआउट नहीं किया यह सीधा
02:45है न आप आंधी कहें तू पान कहें क्या कहें मुझे नहीं समझ में आ रहा है कोई पार्टी 101 सीटों पर अपने उम्मिध्वार
02:54खरी करती है और आधे दिन की काउंटिंग हो रखी है अभी तक उसमें 95-96 सीटों पर आगे चलती है अब इसको आंधी कहें तुफान कहें नहीं पता है उनके गटबंधन के साथ ही जिसको गेम चंजर समझा जाता है वो भी इनसे पीछे ही है अभी बहराल हम लोग मोदी की आ
03:24जो था वो नितीज के सुसाचन पर मुहर था उसमें एंटी नहीं थी दो हजार पाच के बाद ही 2010 2010 का जो चुनाब था उसमें एक और बात थी कुसमें मोदी फैक्टर नहीं था अभी का जो जो जो जो जो जो जो आपरतियासित परिनाम देखने वह मिल रहा है इसमें निती
03:54पहली बात तो यह कि बिहार जैसे राज्य में प्रसांत कि शौर जैसे लोग ने दोसों ते ताली सीट पर चुनाव लरने का फैसला किया और सठीक मुद्धों के साथ चुनाव लरने का फैसला किया इस बात के लिए दूसरा मुझे लगता है कि बिहार की राजनीती बिना �
04:24लगता है कि प्रिशांत कि शौर कहां चूग गए लिए मुझे नहीं लगता है कि उन्होंने तीन साल पहले अपनी पार्टी शुरू की है तो मुझे लगता है कि तीन साल में उस सरकार बना लेंगे उन्होंने तूसरा ताली सीटों पर चुनाव लरा सबसे बड़ी बात य
04:54देखा जाएगा उनके पास आगे फ्यूचर है हमारा में फोकस आज रहेगा कि कहां चूक है मतलब दो तीन मुद्धा है जहां मतलब दो तीन फैक्टर मुझे लगता है प्रसांत कि सोर ने सब से ज्यादा मतलब कैंडिडेट को चैन उनका सही नीड़ा उन्होंने मतलब हर
05:24तो चैन गलत था इसके अलाबा जन सुराज में कम से कम हर सीट पे दो से तीन बागी कैंडिडेट जन सुराज के बागी कैंडिडेट जो मतलब जो कुछ बी और नंबर आने वाला तो नहीं आपाया तो कई कारण है पसांत कि सोर तो जाम मतलब रननितिकार या बड़े कैं�
05:54लेंगे समिता आप बताईए आप कहां देखती है जीरो सीट को आप क्यूं देखती है कि प्रशांत किशोर साइसी क्या खामी हो गई होगी कि जीरो सीट नहीं तीन साल पहले उन्होंने पार्टी बनाई लेकिन जब आप चुनाव जीतने के लिए उतरते हैं तो आपके पा
06:24है तो तीन साल में और जब आपके सामने मुकाबला बीजेपी और एंडिया जैसी मजबूत पार्टी के मजबूत आपके उमीद विपक्षी है तो आपके पास वह चीज नहीं थी पहले तो दूसरी बात है कि आपने दो सो तालिस पे सीधे बतले इतने बड़े आप सिटी स
06:54अच्छे उमीदवार उतारते वहां पे पने संगठन को मजबूत करते तो शायद उनको थोड़े अच्छे इससे अच्छे रिजल्ट में आपके पास फिर हम आएंगे हमारे साथ जावेद जी मौजूद है जावेद जी आपको क्या लगता है प्रशांत कि शोर जिस तरीक
07:24न्यूज बिहार में जनसुराज एक बड़ी ताकत के तरह उभर रही है और उसके बाद में हर बार जब जावेद जी से मिलता था मैं पूछता था जनसुराज का क्या हाल है आज जावेद जी बताएंगे कि जनसुराज का ये हाल क्यों हुआ
07:36बात तो से आप सही बोलना है जनसुराज जिस तरह मुद्दा उठा रही थी तो उससे हम लोग काफी मतासिर थे कि चलो चलो बिहार में कोई ऐसी पार्टी है जो हम लोग लिए बात कर रही है ठीक है वह बाजापता प्लायन पर ज्यादा उठा रही थी मुद्दा और उनक
08:06नहीं देख रहा है तो समझ से बाहर की बात है कैसे फेलोगे यह सीप जम स्साफ ने Україा लीया कविंट जम कर रहे है आर्ली
08:28और पता नहीं समझ से बाहर की बाते लेकिन मुझे यह था कि परसांग के जिस तरह की बाते करते थे उन्होंने जिस तरह का इंट्रिव्यू दिया उनकी बात तो जिनमीन लग रही थी हर चीज लेकिन फिर भी ग्राउंड पे मतलब की वोट कनवर्ट नहीं हो पाना यह एक ब
08:58बियार में रोजगर और पर्यायनका मुझा बिल्कुल स्रम प्रशांग कि जो पाटीया जनता को सिर्फ पे
09:13और फेस्बुक पे मुदो की बात से जंता the connect नहीं होती जंता को connect हर ridge ने के लिए आपके पास एक
09:19केशाओ सर कौन सा अप्रोच रहा जो छूड़ गया कुछ बाते हैं यहां पर समझनी पड़ेगी अगर यह कहता है कि प्रशांत किसोर का जनता से जुडव नहीं हो सका तो इससे बड़ा दुरवागे और कुछ हो ही नहीं सकता है
09:39आप पूरे राजनेटिक परिद्रिश में देखिए पिछले तीन साल से बिहार में सबसे ज़्यादा एक्टिव कौन सा राजनेता रहा है कौन सा पॉलिटिकल फीगर प्रशांत की सोर से ज़्यादा एक्टिव था बिहार में तेजस्वी जाद दिखेंगे आपको नहीं दि�
10:09सब्याद सब्सेillos करने के लिए जन सुराज से और किसके साथ हो सकता है उस पार्टी का जन्म कैसे वहों देखिए पार्टी बनाने
10:27से पहले प्रशांद शुर्ण ने बिहार के लग-अलग recordings हिस्सों प्रियात्रा की और �iltr
10:29हार के अलग अलग हिस्थों में पद्यात्रा की है और सबसे बड़ी कोई है पुछले 50स साल के राजमिति की इत्यास में देखें उससे
10:39पहले बड़ी पद्यात्रा पर्णामंत्री चंदुध रिचेकर जीए ने कि थी विहार में के वह निखते हैं लगातार
10:49को उठाते हैं जनता से जुडाव के लिए आप क्या करना पड़ेगा यह तो समझे को नहीं हुआ है उसमें में बहुत हद
11:00तक सुमित की बात से मुतमईन हूँ जन सुराज में टिकट बटबारा एक इसू था दूसरी बात यह देखिए एक
11:07मॉडियूल है आप दो हजार इकीस के पस्षिम वंगाल चुनाव को देखिए वहां पर भारतिय जनता पार्टी वाज इन गुट पोजिशन टू डिफीट टीएमसी लेकिन हुने क्या किया टीएमसी में जिसको हडाते वह उसको अपने पार्टी में ले आए अब क्या हुआ �
11:37वही बात हुई है जन सुराज में बहुत सारे ऐसे लोग आये जो बीजेपी जेडी यू आरजएडी कांग्रेस कहीश और से टिकेट के दावेदार थे या टिकेट के उमीद में थे उहां उनको टिकेट नहीं मिलती है वो जन सुराज का रुप करते हैं इनको लगता है कि ह
12:07क्लासिकल पॉलेटिक्स पैटरर प्रसांत रहते वापस आते यह नाव पर सवाएं तो आप प्रसांत कि सोर ने जो मुद्दे बिहार के लोग नहीं समझ तो
12:32तो लगता है प्रतांत किस्वर के अपने मुद्धे आप यूरोप वाले देश पे जागे शुनाव लगना चाहिए इन मुद्धों पर शिक्षा स्वास्त क्योंकि बिहार के लोग तो नहीं समझ भाए उन्होंने तो फिर से वोट जाती पर दिया उसकता हो बिहार के लोग न
13:02अभाव दिख रहा है इसमें क्योंकि हारना एक अलग चीज है कई सीर्स ऐसी ती जहां पर उनके कैंडिडेट्स अच्छा दे सकते थे तो कहीं ने कहीं वह जो संगटन और बूत मैनेजमेंट की जरुरत होती है जिससे आप चुनाव जीतते हैं उसकी वह लाग कर रहा था �
13:32प्रशांत की सोर की पार्टी को वोट देने से एंडिये को नुक्सान होगा और जंगल राज आ जाएगा यह नेरेटीव बहुत ही सिद्दत से बेचा गया है बिहार में और जनता ने इसको स्विकार भी किया है जो स्कोर वोट अभी दिख रहा हैं जिस तरह से एंडिये को
14:02अजाक में कहा जा रहा है प्रशांत की सुर को देखना चाहिए हो हलाकि प्रशांत की सुर ने और बहुत जवरदस्त यह कर दिया था उन्होंने अपना अप्रतिग्या उन्होंने ले ली थी कि जनता दली उनाइटेड को 25 सीट आउस जादा आया तो चोड़ देंगे राज
14:32कहीं न कहीं प्रशांत की शुर की रणीतिया रही है लेकिन आज वो अपनी रणीति बनाने में फेल होते दिखाई पड़ रहे है इस पर आप क्या सोचते हैं हमें कमेंट में बताए और बाकी सारे अपडेट्स हम आप तक पहुचाते रहेंगे देखते रहें यह वर इंड
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