00:00तू यहां खड़ा है, वहां वो गट्रू तेरे दुकान से ऐसे ही सामान ले जा रहा है
00:15बढ़िया, वहां वो मेरी दुकान में नुकसान कर रहा है
00:20और यहां मैं उसके जूतों की रखवाली
00:23अरे वा, ये तो बड़े सुन्दर जूते हैं, मैं ले लेता हूँ इने
00:28जगन, नहीं
00:29ये मेरी पोशाक के साथ बड़े अच्छे लग रहे हैं
00:33जगन, मैं फस जाऊंगा, मैं गट्रू जी को क्या कहूंगा
00:37कह देना, मैंने जूते ले लिए, इनका दाम
00:40नहीं, दुगना दाम उन्हें मिल जाएगा, अब मैं चला
00:44पर बलराम को दंड भी मिलना जरूरी है
00:46सेना पती काका, मेरे पास इतना धन नहीं है
00:50और मैंने सच में इनके जूते नहीं चुराए
00:53बलराम को कारग्रा में रखा जाए
00:55तुझे सत्य दिखाने और बताने ये देख
01:00बलराम, जीवन में ऐसा कई बार होगा
01:08दोश ना होते हुए भी, निर्दोश लोगों पर लांचन लगेगा
01:13पर धैर्य रखना, मैं सब ठीक कर दूँगा
01:17प्यार की ऐसी जलकी उसकी आखों में
01:21प्यार की आखों में