00:00जैसी राम हरर महादेव मित्लों, पूज सी गुर्देव राजेंदाज जी महाराज, पूज सी गुर्देव अफदेशानन जी महाराज, पूज सी गुर्देव सिवानन जी महाराज, पूज सी गुर्देव प्रेमान जी महाराज, पूज सी गुर्देव स्री भाय जी हजमान
00:30कि आज का टॉपिक है कि कुंडली के दोसों को किस प्रिकार दूर करें, जिससे कि आपका भाग तो बाग दर्स जाए इसके लिए कितना नामजर्ब करें
00:43तो इस प्रकार आज का जो टॉपिक है वो यह है कि कितना नाम जब करें कि कुंडली के सभी दोस्त दूर हो जाएं और आपका भाग भी बदल जाएं
00:54तो चलिए शुरू करते हैं इसके लिए आपको नाम जब कि कितनी संख्या कूर्ण करनी होगी
01:01तो जिसके लिए जो संख्या नर्डारित की गई है पूज गुरूँ और सिद्ध महत्माओं के दोरा वो इस प्रकार है
01:11जैसे कि जब आप एक करोण नाम जब कि संख्या पूर्ण कर लेते हैं तब आपका तन भाव सुद्ध हो जाता है
01:23तन भाव क्या होता है वो जानना हफ्सक है तन भाव का मतलब होता है कि आपकी जो सारीरिक विकार है
01:32सारीरिक जो भी समस्या है एक करोण नाम जब करने से वो दूर हो जाती है
01:37यानि कि आपका सरीर निरोगी हो जाता है और आपका फुल मिलाकर जो आपका औरा है वो आपका सुद्ध हो जाता है
01:45यानि कि आपका जो सरीर है सरीर के जो भी राक देस हैं वो सब छीड़ होने लगते हैं वो सब सुद्ध होने लगते हैं
01:54काम, क्रोध, मदलोव इस तरह के जितने भी सारीरिक आपके जो दोस हैं वो दूर होना शुरू हो जाती है जब आपकी एक करोन नामजब की संक्या पूंड हो जाती है जब आपके दो करोन नामजब की संक्या पूंड हो जाती है जब आप दो करोन नामजब कर लेते हैं तो आ
02:24वो ठीक हो जाती है जब आप दो करोण नाम जब की संख्या पूर्ण कर लेते हैं
02:29यानि कि जब आप दो करोण नाम जब की संख्या पूर्ण कर लेंगे
02:34जैसे कि आपके जो भी प्री नाम है भगवान के कोई भी आप ले सकते हैं
02:39जैसे राम, क्रेश्न, हरी, सिव, दुर्गा, काली, कोई भी आप नाम जो आपको प्री हो, वो आप नाम ले सकते हैं और उस नाम का आप जब कर सकते हैं
02:49नाम जब में कोई भी समस्या नहीं है, इसके लिए ये आउसेक नहीं है कि आपको गुरु प्रदत ही होना चाहिए, इसके लिए आप कोई भी नाम जो आपको रुच कर लगे, जिसमें आपकी स्रद्धा हुआ आप ले और उसका नाम जब करें
03:02और दो करोन नाम जब की संक्या हर व्यक्ति को अवज से पूर्ण कर लेनी चाहिए, क्योंकि धन की आसकता हर व्यक्ति को होती है और बिना धन के कोई काम नहीं होता है, भगवान के बजन के लिए, भगवान के परोकार के लिए, किसी भी अच्छे काम के लिए धन की अतिया
03:32दं सम्मंदी जीवन में कभी कोई सम्मेशा नहीं है
03:35चलिए आगे बढ़ते हैं
03:37जानते हैं तीन करोण नाम जप में
03:39क्या प्रवाव पढ़ता है
03:40जब आप तीन करोणा नाम जप की संक्या
03:43पूं कर लेते हैं
03:44तो आपके
03:45तीसरे भाव की सुद्धयोः आक्थी
03:49तीसरा भाव जो होता है वो सुहिद्रे का होता है
03:54सुहिद्रे मतलब यह होता है कि आपके जो भी सगे संबंदी हैं
03:59जो भी आपका हिद्र चाहने वाले हैं
04:02वो सब आपके पास आना शुरू होयाते हैं
04:04वो सब आपकी साहता करना शुरू कर देते हैं
04:07जब आपके 3 कुरोण नाम जब की संक्या पूर्ण होने में क्या होता है
04:15जब आप 4 कुरोण नाम जब की संक्या पूर्ण कर लेते हैं
04:19तो आपका तन, धन, सुक, सुषदय ये चारो भाव आपके पुष्ट हो जाते हैं
04:25सुद्ध हो जाते हैं, यानि कि आपके तन भाव में भी कोई समस्या नहीं होगी, धन भाव में भी कोई समस्या नहीं होगी, सुख सुद्ध है, इन चारो भावों की सुद्धी हो जाएगी, यानि कि सारीरी कोई प्राबलम नहीं होगी, आपको जो धन की समस्या है, वो भी ज
04:55भूट वो सब आपकी होर आपडरस्टबनाउ शुरू हो जाएंगें आपके लिए He
05:01कि कहने का मतलब यह है कि अच्छी परिस्तिया बन्याचलू हो
05:05जामेंगे जब आपके 4 हकोड़ा को जाए यानि कि तन आल कि 40 हो चुकी होBI यानि कि funk भाउ की
05:12की हो चुकी होगी शुक भाव की हो चुकी होगी यानि चार क्रोण नाम बें ये चारो सुद्धिया आपकी कुंडली की हो जाती है इसी पितार जब आप पांच क्रोण नाम जब
05:23पूरू कर लेते हैं
05:26तो इससे आपके संतान भाव की
05:28विद्या भाव की
05:29मोच भाव की
05:30इन सब भावों की सुद्धी हो जाती है
05:50अब जान constantly
05:51कि 6 करोन नाम जब किसंक्या पूर्ण करने पर क्या होता है, 6 करोन नाम जब किसंक्या जब आप पूर्ण कर लेते हैं तो आपके सत्र भाव की सुद्धी हो जाती है, सत्र मतलब जो भी आपके लोकिक पार लोकिक, जो भी आपके सत्र है, वो सब परास्त हो जाते हैं, और जो �
06:21बलकि जो आपके सड़ विकार हैं। जानि कि आपके जो शत्र हैं, काम, क्रोज, मुज, भूब, इस सब आपके दूर होना कला सुरू हो जाता है।
06:51तो उसे अच्छी वत्नी की प्राक्ति होती है। और इसी पेकार जब आठ करोण नाम जब की संक्या
07:01पूर्ड कर लेते हैं तो इस से आपके मृत्य वाहों की सुभी होती है। इसका मतलब है कि आपकी कभी भी अकाल मिलत्यों नहीं होती है,
07:09अबकाल में तुरू होती है तो टल जाती है और इसके साएस माथकी आयू का भी विस्तार होता है जैसे कि अगर
07:18आपकी आयू कम भी है तो भी आपकी आयू बढ़ जाती है तो कि भगभवान का
07:26नाम जब आप करते रहते हैं किसी पतार जब आप ninth, नो कुरोण नाम जब
07:31कि संक्या पूर्ण कर लेते हैं तो आपके धर्म और भागी की सुद्धी हो जाती है यानि कि आपका धर्म बढ़ता है और भागी बढ़ता है इसी पेकार जब आप 10 कुरोन नाम जब की संक्या पूर्ण कर लेते हैं तो आपके कर्म भाव की सुद्धी हो जाती है यानि कि आ�
08:01आपके जो कर्म है वो अच्छे ही बनेगे और फिर आप गलत कर्मों की तरफ जाएंगे नहीं क्योंकि आप
08:06सात्विक होना शुरू हो जाएंगे जब आप 10 करोन नाम जब की संक्या पूर्ण कर देंगे
08:12लेंगे इसी पेकार जवाब 11 क्रोन नाम जब की संक्या पूर्ट कर लेंगे तो लाब और आय का जो भाव होता है वो सुद्ध हो जाएगा जैसे आप कोई भी बिजनस करते हैं नौकरी करते हैं तो इसमें आपको फिर प्रॉफिटी प्रॉफिट होगा उसमें फिर नुकसान
08:42की नाम से सब कुछ संभव है यदि आप विश्वास करें तो विश्वास बहुत आवस्वास करें इसी पेकार जब आप 12 क्रोन नाम जब की संक्या पूर्ट कर लेते हैं तो इससे आपके मोच भाव की सुद्धी होती है यानि कि एगर आप मोच चाहते हैं तो आपको मोच क
09:12कर सकते हैं और वो भी इसी सरीर से इनी नेत्रों से इनी आखों से आप बगवान के जीते जी साच्छा दरसन चाप्त करते हैं अगर आप 13 क्रोन नाम जब की संक्या पूर्ट कर लेते हैं और इससे ज्यादा चाहिए कि अगर आप एक अरप नाम जब की संक्या पूर्ट कर �
09:42जिस पर भी आप देश्ट डालेंगे जो भी आप से मिलेगा वो सुद्ध हो जाएगा
09:47तो यह सब भगवान के महान नाम की महिमा है
09:52और भगवान के महान नाम से सब कुछ संबह हुआ है
09:56जैसा कि हमारे सभी पूज गुरू ने बताया है
10:00सिद्ध संतों में बताया है
10:01आप सिद्ध लोग भगवान के नाम पर विस्वास करके
10:05उज गुरूओं और सिद्ध सादूओं शिद्ध संतों के बचनों पर विस्वास करें