00:00जरखन में ग्राउंड वाटर जो है जरखन का विशेस बात यह है कि इहां पर कोई पार्मानेंट रिवार या रिवार वाटर सोर्च जो है बहुत कम है खली शाहब गांज आन पाकूर के पास से गंगा गया है तो ओहां कुछ जो गंगा के आसपास का जो एडिया है वह मानते
00:30सेंपोराल वाटर वह आया जब फिर चला गया उसको हम लोग कहां तक पकर पाते है यह मैटर बहुत ज्यादा पकर अभी भी नहीं पाते है यह एक मेजर इशू है दूसरा तो पानी रहता कहा है ग्राउंड वाटर का इहां पर बहुत ज्यादा यूज होता है पीने का पान
01:00कि शाट से आशी फीट या आशी से शौफीट के अंदर जो था वह लेयर बहुत ज्यादा जागा में उसका खापत हो गया है तो लोग अभी हम लोग जैसी देखते है कि दो सो चालीस तीन सो फीट पे जाके अभी पानी हम लोगों को स्टेबल पानी मिल रहा है तो जायज ह
01:30उसको देखके हम लोग बोल सकते हैं कहां पर कितना पानी मिलने का उमीद है और आपको उसको अपना रिकॉयर्मेंट के साथ मैच करा के प्रोजेक्ट स्कीम्स बनाना चाहिए कि ज्यादा दिन चाले भी और रिचार्ज भी कर सकते हैं और जीला या ब्लॉक के ही सबसे मार्
02:00रिचार्ज कर रहे है उसको कैसे फिर घिसको गितनाром कर रहे है वह रिचार्ज हम कर पार�сть है कि नहीं कितना कम है है कितना ज़्यादा है इसका आकलन सब के सामने होन चाहिए और यह कम्मूनिटी के
02:14participation, which is our user, which should be in front of us.
02:18This exercise is very important.
02:20We used to do this in the village water and science committee,
02:24but we have a lot of confusion in the country,
02:28and in the country there is no community body.