Skip to playerSkip to main contentSkip to footer
  • 3 years ago
आपने वो कहावत तो जरूर सुनी होगी, कि "अकेला चना भांड नहीं फोड़ता"। ठीक वैसे हीं एक अकेला व्यक्ति भी जीवन में कुछ नहीं कर सकता अर्थात् कोई महान कार्य नहीं कर सकता। क्योंकि एक अकेले व्यक्ति पास सिमित संसाधन होते हैं और संसाधनों की सिमितता के कारण उसके सोचने और कार्य करने का दायरा भी सिमित हो जाता है। पर जब वही व्यक्ति किसी संगठन की नींव रख देता है या फिर किसी संगठन का हिस्सा बन जाता है फिर तो उसके पास संसाधनों की जैसे बाढ़ सी आ जाती है और वह देखते हीं देखते बड़े से बड़ा काम भी बड़ी आसानी से कर लेता है। तात्पर्य यह है कि संगठन हीं व्यक्ति को संबल प्रदान करता है तथा उसे समाज में स्थापित करता है....।

Category

📚
Learning

Recommended